झारखंड : कोल्हान में हाथियों ने उड़ायी रातों की नींद, दहशत में लोग
कोल्हान प्रमंडल के विभिन्न क्षेत्रों में इन दिनों हाथियों के उत्पात से जंगल के आसपास रहने वाले ग्रामीण दहशत में जी रहे हैँ. हाथी कभी दिन-दहाड़े, तो कभी रात में घुसकर जान-माल को नुकसा पहुंचा रहे हैं. दरअसल, हाथियों का कॉरिडोर (रास्ता) बाधित होने से ऐसी स्थिति बनी है.
Jharkhand News: कोल्हान प्रमंडल क्षेत्र में इन दिनों हाथियों का उत्पात जारी है. सरायकेला- खरसावां जिला अंतर्ग चौका स्थित कुरली गांव में हाथियों ने घर को गिरा दिया, वहीं घर में रखे धान को खा गया. दूसरा मामला पश्चिमी सिंहभूम जिले का है. जगन्नाथपुर थाना अंतर्गत मातगुटू गांव में जंगली हाथी ने चंद्र मोहन कराई के कच्चे मकान को ध्वस्त कर दिया. वहीं, पूर्वी सिंहभूम जिला अंतर्गत बहरागोड़ा की मानुषमुड़िया पंचायत के धानघोरी गांव में हाथियों ने घर की खिड़की तोड़ अंदर रखे एक क्विंटल को खाया और बर्बाद कर दिया. हाथियों के इस उत्पात से पूरे क्षेत्र के लोग दहशत में हैं.
चौका के कुरली गांव में हाथियों ने तोड़ा घर, फसलों को रौंदा
पश्चिमी सिंहभूम जिला अंतर्गत चौका थाना क्षेत्र के कुरली गांव में बुधवार की रात जंगली हाथियों ने जमकर उत्पात मचाया. हाथियों ने दुखनी महतो के घर को गिरा दिया. वहीं घर में रखा धान खा गया. घर में सो रहे परिवार ने कोने में दुबक कर अपनी जान बचायी. हाथियों के गांव व घर के आसपास रहने तक पूरा परिवार दहशत में रहा. हाथियों ने घर के सामान को तहस-नहस कर दिया. घर में रखे अनाज का एक-एक दाना खा गये.
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चार की संख्या में हाथियों ने मचाया उत्पात
कुरली गाव में मंगलराम महतो, महादेव महतो, उमेश महतो, संतोष महतो, सुशेन महतो, मेघनाथ महतो, विनोद महतो के खेतों में धान का बिछड़ा रौंदकर कर बर्बाद कर दिया है. ग्रामीणों ने बताया कि जंगली हाथियों की संख्या चार है. चारों हाथी बुधवार की देर रात गांव में घुसे. इस समय लोग अपने घरों में सो रहे थे. हाथियों की चिंघाड़ सुनकर ग्रामीण भय से घरों में दुबके रहे. गांव में उत्पात मचाने के बाद हाथी वापस मारांगहारांग पहाड़ पर चले गये. गांव में हाथियों से हुए नुकसान की सूचना पाकर गुरुवार को वनरक्षी सुभाष मछुआ कुरली गांव में पहुंचे. यहां नुकसान का जायजा लिया. हाथी प्रभावित लोगों को मुआवजा देने का आश्वासन दिया.
जगन्नाथपुर : हाथी के हमले से भरभरा कर गिरा कच्चा मकान, बाल-बाल बचा परिवार
वहीं, पश्चिमी सिंहभूम के जगन्नाथपुर थाना अंतर्गत मातगुटू गांव में बुधवार की रात जंगली हाथी ने चंद्र मोहन कराई के कच्चे मकान को ध्वस्त कर दिया. उस समय चंद्रमोहन का परिवार (तीन सदस्य) अंदर सो रहे थे. घर में तीन बकरियां, एक बैल व एक बाइक भी थी. चंद्रमोहन ने बताया वह खाना खाकर कमरे में सोया था. रात 12 बजे अचानक जोरदार आवाज हुई. घर के अगले भाग के छप्पर और दीवारें गिरने लगीं. हाथी चिंघाड़ते हुए घर को तोड़ रहा था. मैं अपने बच्चों और पत्नी को लेकर पीछे के कमरे में चले गया. हाथी ने घर के अगले भाग को पूरी तरह ध्वस्त कर दिया. आस-पड़ोस के लोगों ने किसी प्रकार से हाथी को भगाया. घर के अंदर तीन बकरियां, एक बैल और एक बाइक सुबह तक फंसी रही. रातभर खौफ में जागकर बितायी. सुबह पीछे के घर से बाहर निकला. ग्रामीणों ने बताया हाथी महालिमुरु जंगल की ओर से आया था. खदेड़ने पर पुन: उसी ओर चला गया. ग्रामीणों ने घटना की खबर वन विभाग को दी.
धानघोरी उत्क्रमित प्राथमिक विद्यालय की खिड़की तोड़ एक क्विंटल चावल खा गया हाथी
दूसरी ओर, पूर्वी सिंहभूम जिला अंतर्गत बहरोगड़ा की मानुषमुड़िया पंचायत स्थित धानघोरी गांव में जंगली हाथी ने उत्क्रमित प्राथमिक के रसोई घर की खिड़की तोड़ दी. अंदर रखे एक क्विंटल चावल खाकर और छींटकर बर्बाद कर दिया. विद्यालय के प्रधानाचार्य रामचंद्र सिंह ने बताया कि बुधवार की रात करीब एक बजे हाथी गांव में घुसा. स्कूल के रसोई घर की खिड़की तोड़कर तीन बोरियों में रखे एक क्विंटल चावल खाा गये. ग्रामीणों ने मशाल जलाकर हाथी को खदेड़ा. दूसरी ओर, एक हाथी ने मानुषमुड़िया में मुख्य सड़क के किनारे निगमानंद आश्रम की चहारदीवारी तोड़ दी. आश्रम के मुख्य गेट को तोड़कर घुसा और पीछे की चहारदीवारी तोड़कर बाहर निकाल गया. हाथी को भगाने में ग्रामीण रात भी परेशान रहे.
पिछले कई महीनों से जंगली हाथियों का उत्पात
मालूम हो कि इस इलाके में पिछले कई महीनों से जंगली हाथियों ने उत्पात मचा रखा है. हाथियों के उत्पात के कारण ग्रामीणों का जीना दूभर हो गया है. जंगली हाथी अब तक कई स्कूलों को भी निशाना बना चुका है. ग्रामीण दहशत में जीवन यापन कर रहे हैं.
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