Coronavirus in Jharkhand (जमशेदपुर ) : झारखंड के हर जिले में कोरोना वायरस संक्रमण की स्थिति समेत अन्य मुद्दों पर सीएम हेमंत सोरेन उस क्षेत्र के मंत्री, सांसद और विधायकों से ऑनलाइन बात कर रह हैं, ताकि राज्य के जिलों में कोरोना की वास्तविक स्थिति और उससे निबटने पर चर्चा हो सके. इसी कड़ी में मंगलवार को दक्षिणी छोटानागपुर समेत कोल्हान के मंत्रीगण, सांसद और विधायकों से भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से चर्चा की.
इस दौरान जमशेदपुर के सांसद विद्युत वरण महतो ने मुख्यमंत्री से बात करते हुए कहा कि पूर्वी सिंहभूम में वेंटिलेटर एवं ऑक्सीजन युक्तबेडों की काफी कमी है. यह संख्या ग्रामीण क्षेत्रों में और कम है. शहरी क्षेत्र में टाटा स्टील जैसे कई उद्योगों की मदद से यह कार्य हो रहा है. उसी प्रकार अन्य औद्योगिक कंपनियों के साथ मिलकर इसकी संख्या बढ़ायी जानी चाहिए.
सांसद श्री महतो ने कहा कि कंपनी के अस्पतालों में कर्मचारियों को प्राथमिकता दी जाती है जिसके कारण गांव के गरीब लोगों को उतना बेहतर चिकित्सा सुविधा नहीं मिल पा रही है. उन्होंने यह भी कहा कि पूर्वी सिंहभूम जिले में वैक्सीनेशन के संबंध में लोगों की धारणा अच्छी है और बड़ी संख्या में लोग वैक्सीनेशन कराना चाहते हैं. बेहतर होगा कि सभी सामुदायिक भवनों में वैक्सीनेशन की सुविधा उपलब्ध करायी जाये.
उन्होंने कहा कि बहरागोड़ा में डॉक्टर, नर्स एवं अन्य सहायक चिकित्सा कर्मी संक्रमित हो गये हैं, जिसके कारण वहां चिकित्सा कर्मियों की घोर किल्लत है. उन्होंने मुख्यमंत्री से कहा कि पूर्व में जिन आउटसोर्स कर्मियों को हटाया गया था. उन्हें यदि पुनः सेवा पर बहाल किया जाता है, तो समस्या पर काफी हद तक काबू पाया जा सकता है.
इसके अलावा सांसद विद्युत महतो ने सुझाव दिया कि अंतिम वर्ष के मेडिकल के छात्रों अथवा सेवानिवृत्त हो गये हैं, उन चिकित्सकों को पुनः बहाल किया जाना चाहिए. जिससे चिकित्सा सुविधा सुचारू रूप से मिल पायेगी. उन्होंने कहा कि UCIL और HCL ने भी अपने-अपने स्तर से कोरोना मरीजों के लिए बेड की व्यवस्था की है, लेकिन इसे और बढ़ाये जाने की जरूरत है. एचसीएल प्रबंधन ने कहा कि उनका सुरदा लीज नवीकरण का मामला लंबित है, जिनके कारण आज हजारों लोगों के समक्ष इस कोरोना काल में रोजी-रोटी का संकट भी उत्पन्न हो गया है. सुरदा माइंस का लीज नवीकरण जल्द संपन्न किया जाये.
सांसद श्री महतो ने मुख्यमंत्री को बताया कि कोरोना जांच रिपोर्ट में काफी गड़बड़ियां सिस्टम की वजह से आ रही हैं, जिनका निराकरण होना चाहिए. मूलवासी और आदिवासी समाज में जो पारंपरिक व्यवस्था है उसके अनुरूप अभी भी शादी एवं श्राद्ध में बड़ी संख्या में लोग जुट रहे हैं, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में इसके संक्रमण का दायरा फैलने की पूरी संभावना है. इसका निराकरण निकाला जाना चाहिए.
उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों में हाट का समय भी निर्धारित करने के लिए कहा है. उसमें भी मास्क और सोशल डिस्टैंसिंग के साथ अनुपालन की व्यवस्था सुनिश्चित की जानी चाहिए. सांसद ने मुख्यमंत्री को यह भी सुझाव दिया की जिस तरह वे आज सांसद एवं विधायकों से बात कर रहे हैं उसी प्रकार वह मुखिया के अलावा पारंपरिक प्रधान, मांझी, महाल, मुंडा, मानकी आदि लोगों से बात कर उनका सुझाव भी लें, ताकि ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना का संक्रमण रोका जा सके.
सांसद ने कहा इस समय हम सभी को दलगत भावना से ऊपर उठकर काम करने की जरूरत है. एक-दूसरे के कमियों को ढूंढने के बजाय सामूहिक रूप से इस बीमारी से लड़ने की जरूरत है, जिससे इस पर यथाशीघ्र काबू पाया जा सके. सांसद ने कहा कि पूर्वी सिंहभूम जिला प्रशासन उपायुक्त के नेतृत्व में लिए बेहतर तरीके से काम कर रहा है.
Posted By : Samir Ranjan.