जमशेदपुर पूर्वी, पश्चिमी, धनबाद और बोकारो सीट पर इंटक से उम्मीदवार देने की मांग
जमशेदपुर (अशोक झा) :
झारखंड प्रदेश इंटक ने आगामी विधानसभा चुनाव में चार सीटों पर इंटक से प्रत्याशी बनाने की मांग की है. रविवार को जमशेदपुर के वायर प्रोडक्ट वर्कर्स यूनियन कार्यालय में प्रदेश इंटक अध्यक्ष राकेश्वर पांडेय की अध्यक्षता में बैठक हुई. बैठक में बोकारो, धनबाद, पश्चिमी सिंहभूम, पूर्वी सिंहभूम (जमशेदपुर) से इंटक कार्यकर्ता को विधानसभा चुनाव में टिकट देने के अलावा श्रमिक हितों पर विचार-विमर्श किया गया. वक्ताओं ने कहा कि झारखंड अलग राज्य गठन से लेकर इसके विकास में मजदूरों का अहम योगदान रहा है. इसमें इंटक का अहम रोल रहा है. ऐसे में इंटक नेताओं को भी विधानसभा चुनाव में प्रतिनिधित्व करने का मौका मिलना चाहिए. इंटक नेताओं की अनदेखी के कारण कांग्रेस पार्टी को अच्छे परिणाम नहीं मिल रहे हैं. मजदूर नेताओं को भी चुनाव लड़ने का मौका मिलना चाहिए. बैठक में कांग्रेस और इंटक में सामंजस्य स्थापित करने और मिलजुल कर कार्य करने की पद्धति को आगे बढ़ाने पर विचार-विमर्श किया गया. इसके अलावा झारखंड के सभी जिलों में इंटक की जिला कमेटी का गठन, उनकी जिम्मेदारियां से अवगत कराने, जिम्मेदारियां को निभाने वालों को विशेष ट्रेनिंग देने पर विचार किया गया. बैठक में झारखंड इंटक के सदस्यों को संगठित एवं असंगठित क्षेत्र में नयी यूनियन बनाने एवं असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले मजदूरों को सरकारी सुविधाओं, पीएफ एवं इएसआई का लाभ कैसे मिले, आदित्यपुर क्षेत्र में स्थापित झारखंड की दूसरे सबसे बड़ी इएसआई के अस्पताल में हो रही असुविधाओं पर विचार, महिला सशक्तीकरण और गरीब परिवारों की महिलाओं को वित्तीय सहायता प्रदान करने, महिलाओं को सशक्त बनाने, इंटक में महिलाओं की सहभागिता, उनकी जिम्मेदारी और उन्हें कैसे मजबूती प्रदान किया जाये, इसकी रूपरेखा तय करने पर विचार-विमर्श किया गया.सात जुलाई को हजारीबाग में होगी प्रदेश इंटक कार्यकारिणी की बैठक
बैठक में तय हुआ कि झारखंड इंटक प्रदेश कार्यकारिणी के सदस्यों की बैठक सात जुलाई को हजारीबाग के टाउन हॉल में होगी. बैठक में इंटक के सभी विंग, महिला इंटक, यूथ इंटक के नेता, कार्यकर्ता भाग लेंगे. कार्यकारिणी की बैठक में इंटक के राष्ट्रीय महामंत्री संजय सिंह भी शामिल होंगे. बैठक में झारखंड प्रदेश इंटक के अध्यक्ष राकेश्वर पांडेय, टाटा मोटर्स वर्कर्स यूनियन के महामंत्री आरके सिंह, पंकज सिंह, श्रीकांत सिंह, महेंद्र मिश्रा, परविंदर सिंह सोहल, संजीव श्रीवास्तव, राकेश तिवारी, पिंटू श्रीवास्तव, केपी तिवारी, राणा सिंह, मीरा तिवारी, जगदीश नारायण चौबे, बीरबल सिंह, यूसीआइएल जादूगोड़ा, देबू चटर्जी, राजेश सिंह राजू, शिव लखन सिंह, कमल हसन, जयंती दास, अंजनी कुमार, उषा सिंह, विजय यादव आदि उपस्थित थे.पूर्वी से राकेश्वर पांडेय, पश्चिम से रघुनाथ पांडेय दावेदार
इंटक के दो राष्ट्रीय स्तर के नेता जमशेदपुर में विधानसभा चुनाव में प्रबल दावेदार हैं. इनमें जमशेदपुर पूर्वी से राकेश्वर पांडेय तो पश्चिम से रघुनाथ पांडेय का नाम शामिल है. राकेश्वर जहां टाटा समूह की अधिकतर कंपनियों में संचालित यूनियनों, क्लब एंड रेस्टोरेंट के अध्यक्ष हैं. वहीं रघुनाथ पांडेय जुस्को श्रमिक यूनियन के अध्यक्ष सहित झारखंड इंटक के वाइस प्रेसिडेंट, इंडियन नेशनल मेटल वर्कर्स फेडरेशन के वाइस प्रेसिडेंट, झारखंड ड्राइवर यूनियन के अध्यक्ष, असंगठित मजदूर यूनियन के अध्यक्ष, नेशनल इलेक्ट्रिसिटी वर्कर्स यूनियन, बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन सहित कई मजदूर यूनियनों से जुड़े हैं.1995 के बाद किसी मजदूर नेता को नहीं मिला जमशेदपुर से टिकट
जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा सीट से 1995 के बाद किसी मजदूर नेता को टिकट नहीं मिला. 1995 में जमशेदपुर पूर्वी से इंटक नेता सह कांग्रेस जिला अध्यक्ष (दिवंगत) केपी सिंह के बाद किसी मजदूर नेता को कांग्रेस पार्टी ने अभी तक टिकट नहीं दिया है. 1995 में जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा सीट से कांग्रेस की टिकट से लड़े केपी सिंह को 25,779 मत मिले थे. वे सिर्फ 1101 मतों से रघुवर दास से चुनाव हार गये थे. रघुवर दास को 26,880 मत मिले थे. लोकसभा, विधानसभा सीट पर कई मजदूर नेता लहरा चुके हैं जीत का परचम इंटक नेता बिंदेश्वरी दुबे गिरिडीह से 1980 में चुनाव जीते थे. वे केंद्र सरकार में श्रम मंत्री भी थे. श्री दुबे बिहार में मुख्यमंत्री थे. इसके अलावा इंटक सह कांग्रेस के दिवंगत मजदूर नेता स्व. राजेंद्र सिंह बेरमो से चुनाव जीते और मंत्री बने. वर्तमान में मजदूर नेता कुमार जयमंगल सिंह उर्फ अनूप सिंह बेरमो से विधायक हैं. जमशेदपुर लोकसभा सीट से कांग्रेस की टिकट पर 1984 में टेल्को यूनियन के पूर्व महामंत्री गोपेश्वर ने जीत दर्ज की थी. मूल रूप से सहरसा (बिहार) के रहनेवाले गोपेश्वर 1969 में टेल्को वर्कर्स यूनियन के महासचिव थे. 2008 तक वह टेल्को वर्कर्स यूनियन के महासचिव रहे. वह चार बार इंटरनेशनल लेबर यूनियन के उप नेता थे. धनबाद क्षेत्र में मजदूर नेताओं का प्रभाव रहा है. धनबाद संसदीय क्षेत्र में कोयला का गढ़ होने के कारण मजदूर नेताओं का प्रभाव ज्यादा रहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है