हो समाज के लोगों ने ओत गुरु कोल लाको बोदरा को याद किया
हो समाज के लोगों ने वारंग क्षिति को प्रचार-प्रसार करने करने का संकल्प लिया
वरीय संवाददाता, जमशेदपुर
सीतारामडेरा में शनिवार को वारांग क्षिति लिपि के जनक ओत गुरु कोल लाको बोदरा की 38वीं पुण्यतिथि मनाया गया. विभिन्न सामाजिक संगठनों के अगुवा व समाज के लोगों ने लाको बोदरा की आदमकद प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित किया. ऑल इंडिया हो फिल्म एसोसिएशन के अध्यक्ष सुरा बिरूली ने कहा कि जिस समाज का अपना लिपि होता है. उस समाज की देश में एक अलग ही पहचान होती है. देश में कई भाषाएं बोलने वाले लोग हैं, पर सबकी अपनी लिपि नहीं है. इस दौरान हो समाज के लोगों ने वारंग क्षिति को प्रचार-प्रसार करने करने का संकल्प लिया.इस अवसर पर आदिवासी हो समाज युवा महासभा के जिलाध्यक्ष गोमिया सुंडी, उपेंद्र बानरा, रवि सांवैया, नरसिंह बिरूली, अमित हेंब्रम, निकिता बिरूली, संगीता सामद, दुर्गामनी, किशोर लकड़ा, प्रकाश कोया, दीपक मांझी, सोनू बोदरा, दिनेश कुदादा, संतोष पूर्ति, प्रेम आनंद सामद, पप्पू बानरा, लाल मोहन जामुदा, गंगाराम बिरुली समेत अन्य मौजूद थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है