Jamshedpur News. जमशेदपुर के उपायुक्त मंजूनाथ भजंत्री ने विशेष अभियान में अबतक की प्रगति की समीक्षा की. गत 14 जुलाई से 14 अगस्त तक छूटे हुए बच्चों का शत प्रतिशत जन्म प्रमाण पत्र निर्गत करने के आंकड़े देखे गये. जन्म एवं मृत्यु के पंजीकरण चल रहे अभियान के प्रगति का मूल्यांकन किया. वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से आयोजित बैठक में डीडीसी मनीष कुमार, एडीसी जयदीप तिग्गा, सिविल सर्जन डॉ जुझार माझी, जिला सांख्यिकी पदाधिकारी अरुण द्विवेदी, सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचल अधिकारी, एमओआइसी तथा अन्य संबंधित पदाधिकारी शामिल रहे. उपायुक्त ने प्रखंडवार जन्म एवं मत्यु निबंधन में प्राप्त आवेदनों एवं उनके निष्पादन की गहन समीक्षा की गयी.
इन बिन्दुओं पर की गयी समीक्षा
सभी संबंधितों से उन्हें प्राप्त आवेदनों में से कितने आवेदन 21 दिनों के भीतर, 21 दिनों से लेकर एक वर्ष से अंदर तक के विलंब मामले या एक वर्ष से अधिक विलंब मामले के आये हैं, इसकी जानकारी ली. अभियान के तहत जन्म निबंधन के लिए 34049 आवेदनों में से 17003 का निष्पादन करते हुए 8005 जन्म प्रमाण पत्र निर्गत किये गये. मृत्यु निबंधन हेतु प्राप्त कुल 3178 आवेदन में 1599 का निष्पादन करते हुए 896 प्रमाण पत्र निर्गत किये. उपायुक्त ने कहा कि यह उपलब्धि काफी कम है, उन्होंने अभियान के प्रति जनजागरूकता लाते हुए ज्यादा से ज्यादा आवेदन प्राप्त करने के निर्देश दिया. साथ ही आवेदनों के समयबद्ध निष्पादन पर भी बल दिया गया. उन्होंने कहा कि उक्त प्रमाण पत्र सामान्य प्रक्रिया के तहत आम नागरिकों को उपलब्ध हो इसे सुनिश्चित करें.
टावर लगाने के लिए चिन्हित होगी भूमि
उपायुक्त ने उग्रवाद प्रभावित क्षेत्रों में मोबाइल टॉवर स्थापित करने के लिए भूमि चिन्हित करने को लेकर संबंधित अंचल अधिकारी के साथ समीक्षा की गयी. घाटशिला के भुमरू, फुलझोर एवं मकुली जंगली, चाकुलिया के जमीरा, डुमरिया के नुनिया तथा पोटका के तेलाइडीह में मोबाइल टॉवर लगाया जाना है. संबंधित अचल अधिकारियों ने अवगत कराया कि भूमि चिन्हित कर लिया गया है. आवश्यक कार्रवाई प्रक्रियाधीन है. उपायुक्त ने एडीसी को अग्रेत्तर कार्रवाई के निर्देश दिये.
डीसी संवाद का होगा आयोजन
16 अगस्त से टॉक टू डीसी कार्यक्रम शुरू होगा. कार्यक्रम की रूपरेखा तैयार की गयी. प्रज्ञा केंद्र के माध्यम से आम नागरिक सीधे जिला व प्रखंड के वरीय अधिकारी तथा संबंधित विभागीय पदाधिकारियों के साथ जुड़ेंगे. पंचायत, प्रखंड, अंचल व थाना से जुड़े मामलों का तत्काल समाधान का प्रयास होगा. सरकारी जमीन पर अतिक्रमण को छोड़कर जमीन संबंधी दूसरे मामलों को इसमें नहीं सुना जायेगा. जमीन संबंधी मामलों को लेकर अलग से कैंप लगाने पर विमर्श किया गया.
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