जमशेदपुर: टाटा स्टील का एकीकृत शुद्ध लाभ चालू वित्त वर्ष की अक्तूबर-दिसंबर की तीसरी तिमाही में 522.14 करोड़ रुपये रहा है. घरेलू बाजार में अच्छी मांग ने यूरोप में कमजोर रुख की भरपाई की. टाटा स्टील ने बुधवार को बोर्ड मीटिंग के बाद शेयर बाजार को यह सूचना दी. एक साल पहले 2022-23 की तीसरी तिमाही में कंपनी को 2,501.95 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा हुआ था. कंपनी की एकीकृत आय घटकर दिसंबर, 2023 को समाप्त तिमाही में 55,539.77 करोड़ रुपये रही, जो एक साल पहले इसी तिमाही में 57,354.16 करोड़ रुपये थी. टाटा स्टील को एकीकृत आधार पर सितंबर तिमाही में 6,511.16 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा हुआ था.
टाटा मेटालिक्स के शेयरों के वितरण को मंजूरी
बोर्ड मीटिंग में टाटा स्टील में टाटा मेटालिक्स के विलय के बाद शेयरों के वितरण को भी मंजूरी दी गयी. एनसीएलडटी के आदेश के मुताबिक, कंपनी के समायोजन को मंजूरी दी गयी. इसके तहत बोर्ड ऑफ डायरेक्टर ने 9,97,01,239 फुल पेड इक्विटी शेयर को एक रुपये के हिसाब से सारे 79 फुल पेड इक्विटी शेयर तमाम शेयरधारकों को देने की भी मंजूरी दी गयी. इसके तहत छह फरवरी तक समायोजन और विलय की सारी प्रक्रिया को पूरी कर ली जायेगी.
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वैश्विक परिचालन परिवेश रहा जटिल
टाटा स्टील के एमडी सह सीइओ टीवी नरेंद्रन ने बताया कि, वैश्विक परिचालन परिवेश जटिल रहा है. चीन में आर्थिक नरमी और वैश्विक स्तर पर तनाव का असर जिंस की कीमतों पर पड़ रहा है. दिसंबर 2023 को समाप्त तिमाही के दौरान चीन ने हर महीने 70-80 लाख टन स्टील का निर्यात किया. यह 2015 के बाद से सबसे अधिक है और इससे वैश्विक स्टील की कीमतों के साथ-साथ लाभ पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है. इसके बावजूद टाटा स्टील इंडिया ने बेहतर मार्जिन दिया है.