जमशेदपुर : सदर अस्पताल 13 जुलाई को प्रसव कराने पहुंची स्लैग रोड की महिला जांच में कोरोना पॉजिटिव पायी गयी है. प्रसव में देरी होने की वजह से महिला को मंगलवार को अस्पताल से छुट्टी दे दी गयी थी, जिसके बाद वह अपने घर चली गयी थी. लेकिन बुधवार को महिला की रिपोर्ट पॉजिटिव आयी, जिसके बाद गायनिक वार्ड व प्रसव केंद्र को बंद कर दिया गया. वहीं, 10 कर्मचारियों को कोरेंटिन कर दिया गया है. साथ ही महिला को इलाज के लिए एमजीएम में भर्ती कराया गया है.
वहीं, दूसरी ओर बुधवार को कोरोना की जांच कराने पहुंचे एक व्यक्ति की रिपोर्ट पॉजिटिव आने से अफरा-तफरी मच गयी. पूरे अस्पताल को तीन बार सैनिटाइज किया गया. जिसकी वजह से अस्पताल के इमरजेंसी को छोड़कर ओपीडी सहित अस्पताल के सभी विभाग लगभग तीन घंटे तक बंद कर दिया गया था. सिविल सर्जन डॉ आरएन झा ने बताया कि मंगलवार को जुगसलाई का एक व्यक्ति जांच कराने के लिए सदर अस्पताल आया था. वह ओपीडी सहित पूरे अस्पताल में घूमा था, लेकिन इमरजेंसी में नहीं गया था.
उसका पैथोलॉजी विभाग में कोरोना जांच के लिए नमूना लिया गया था, जिसकी रिपोर्ट पोजेटिव पायी गयी है. इसके बाद अस्पताल को बंद कर सैनिटाइज कराया गया. लगभग तीन घंटे तक बंद रखने के बाद अस्पताल के ओपीडी को खोल दिया गया. 20 जुलाई तक प्रसव केंद्र, ऑपरेशन थियेटर, गायनिग विभाग पूरी तरह बंद रहेंगे. साथ ही गायनिक वार्ड की महिला चिकित्सकों समेत सभी कर्मियों को कोरेेंटिन कर दिया गया है.
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20 जुलाई तक प्रसव केंद्र, ऑपरेशन थियेटर, गायनिग विभाग पूरी तरह रहेगा बंद
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गायनिक वार्ड की महिला चिकित्सकों समेत सभी कर्मचारियों को कोरेेंटिन किया गया
24 घंटे के लिए पैथोलॉजी बंद : सिविल सर्जन ने बताया कि वह व्यक्ति पैथोलॉजी विभाग में अंदर तक गया था, जिसके कारण पैथोलॉजी को सैनिटाइज करते हुए सुरक्षा की दृष्टि से 24 घंटे के लिए बंद कर दिया गया. अब पैथोलॉजी विभाग को 24 घंटे के बाद खोला जायेगा. अस्पताल के कर्मचारियों ने बताया कि सिविल सर्जन कार्यालय का एक कर्मचारी उसे लेकर आया था, जिसके कारण वह पैथोलॉजी विभाग के अंदर गया था.
सिविल सर्जन कार्यालय के कर्मी हुए कोरेंटिन : कर्मचारियों ने बताया कि पॉजिटिव पाया गया व्यक्ति सिविल सर्जन ऑफिस के एसीएमओ ऑफिस में काम करने वाले एक कर्मचारी के संपर्क में था. इसके कारण उसको भी कोरेंटिन कर दिया गया. वहीं, कोरोना पॉजिटिव मरीज के मिलने के बाद अस्पताल को बंद करने की वजह से 20-25 मरीज बिना इलाज कराये वापस लौट गये.
Post by : Pritish Sahay