कथावाचक ने श्रीमद्भागवत कथा में गजेंद्र मोक्ष का किया वर्णन
श्रीमद्भागवत कथा के चौथे दिन कथावाचक श्याम सुंदर शास्त्री जी महाराज ने भगवान श्रीकृष्ण की जन्म लीला आधारित प्रसंग का व्याख्यान किया.
बिंदापाथर. कालूपहाड़ी गांव में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा के चौथे दिन कथावाचक श्याम सुंदर शास्त्री जी महाराज ने भगवान श्रीकृष्ण की जन्म लीला आधारित प्रसंग का व्याख्यान किया. कथावाचक ने गजेंद्र मोक्ष का वर्णन करते हुए कहा कि श्रीमद्भागवत के अष्टम स्कंध में गजेंद्र मोक्ष, भगवान की कथा है. द्वितीय अध्याय में ग्राह के साथ गजेंद्र के युद्ध का वर्णन है. तृतीय अध्याय में गजेंद्र कृत भगवान के स्तवन और गजेंद्र मोक्ष का प्रसंग है और चतुर्थ अध्याय में गज ग्राह के पूर्व जन्म का इतिहास है. श्रीमद्भागवत में गजेंद्र मोक्ष आख्यान के पाठ का महात्म्य बतलाते हुए इसको स्वर्ग तथा यशदायक, कलियुग के समस्त पापों का नाशक, दुःस्वप्न नाशक और श्रेयसाधक कहा गया है. तृतीय अध्याय का स्तवन बहुत ही उपादेय है. इसकी भाषा और भाव सिद्धांत के प्रतिपादक और बहुत ही मनोहर है. कथावाचक ने भगवान श्रीकृष्ण की जन्म लीला का वर्णन किया. भागवत कथा के आयोजन होने से पूरे क्षेत्र में भक्ति ओर उत्साह का माहौल बना हुआ है. श्रीमद्भगवत कथा को श्रवन करने के लिये के श्रोताओं की भीड़ उमड़ पड़ी.
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