Advertisement
प्रकृति से जुड़ी सांस्कृतिक धरोहर है सरहुल: विकास मुंडा
पाहनों ने इष्टदेव से अच्छी बारिश, क्षेत्र में सुख व शांति की कमाना की. बुंडू : बुंडू में सरहुल महोत्सव के अवसर पर बुंडू नगर में शोभायात्रा निकाली गयी. जनजातीय परंपरा के अनुसार पीपीके कॉलेज आदिवासी छात्रावास, आदिवासी बालक छात्रवास, दाड़ीलोग टूगरी, डामारी, पावाडीह, भाभरी, पंचपरगना सरना संघ, आदिवासी सरना संघ में सुबह पाहन ने […]
पाहनों ने इष्टदेव से अच्छी बारिश, क्षेत्र में सुख व शांति की कमाना की.
बुंडू : बुंडू में सरहुल महोत्सव के अवसर पर बुंडू नगर में शोभायात्रा निकाली गयी. जनजातीय परंपरा के अनुसार पीपीके कॉलेज आदिवासी छात्रावास, आदिवासी बालक छात्रवास, दाड़ीलोग टूगरी, डामारी, पावाडीह, भाभरी, पंचपरगना सरना संघ, आदिवासी सरना संघ में सुबह पाहन ने पूजा-अर्चना कर प्रसाद का वितरण किया.
पाहनों ने इष्टदेव से अच्छी बारिश, क्षेत्र में सुख व शांति की कमाना की. दोपहर बाद उपरोक्त टीमों द्वारा बुंडू के विभिन्न हिस्सों से सरहुल संगीत ढ़ोल-नगाड़े, बांसुरी बजाते हुए युवक-युवतियां थिरकते हुए मौसीबाड़ी के गिरिबा स्थल पर सरहुल नृत्य का प्रदर्शन किया. इस मौके पर विधायक विकास कुमार मुंडा ने सरहुल महोत्सव में शामिल लोगों का स्वागत करते हुए कहा कि यह पर्व प्रकृति से जुड़ा सांस्कृतिक धरोहर है.
जिसे समृद्ध बनाने की आवश्यकता है. मौके पर जिप अध्यक्ष सूकरा मुंडा, डॉ प्रकाश चंद्र उरांव, बुंडू प्रमुख परमेश्वरी सांडिल, नगर अध्यक्ष अलिंद्र उरांव, पांडू मुंडा, ललित मुंडा, नीलमोहन मुंडा, संदीप उरांव, शिवनाथ मुंडा, कलेश्वर मुंडा, नेपाल दास, बासु सेठ, बुद्धदेव उरांव, फेकला गौंझू, हरिहर महतो, सूरज मुंडा व ग्रामीण मौजूद थे.
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement