प्रतिनिधि, तोरपा गर्मी बढ़ने से प्रखंड क्षेत्र की प्रमुख नदियां सूख गयी हैं. छाता नदी व चेंगारझोर नदी पूरी तरह सूख गयी हैं. कारो नदी भी सूखने के कगार पर है. छाता नदी व चेंगारझोर नदी के बीच में घास उग आये हैं. नदी सूख जाने से जानवरों को भी पीने का पानी नहीं मिल रहा है. जिससे काफी परेशानी होने लगी है. पशु पालकों को अपने-अपने मवेशियों को घर में रखकर उनके खाने-पीने की व्यवस्था करनी पड़ रही है. बालू खोदकर निकालते हैं पानी : छाता नदी में मुक्तिधाम स्थित है. यहां पर शवों का अंतिम संस्कार किया जाता है. नदी सूखने से अंतिम संस्कार के लिए आनेवाले लोगों को काफी परेशानी हो रही है. लोग नदी में बालू खोदकर पानी निकालते हैं. कारो नदी का जलस्तर घटा : प्रखंड की प्रमुख कारो नदी का जलस्तर गर्मी के शुरुआत में ही नीचे चला गया है. यहां से तोरपा में जलापूर्ति की जाती है. जलस्तर नीचे जाने से इंटेकवेल में पानी जमा करने में परेशानी हो रही है. जलस्तर बढ़ाने के लिए नदी पर अस्थाई बांध बनाया गया है. फिर भी परेशानी हो रही है.
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