लातेहार : अस्पताल से नहीं मिला वाहन, नवजात का शव ले पिता पांच किमी दूर पैदल पहुंचे गांव

मनिका (लातेहार) : लातेहार जिले के मनिका स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में रीमा देवी ने मृत बच्चे को जन्म दिया. मृत बच्चे के पिता मनोज भुइंया ने प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी राजू कच्छप से शव को घर ले जाने के लिए वाहन उपलब्ध कराने का आग्रह किया. इस पर प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी ने कहा कि वह […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 8, 2018 7:55 AM
मनिका (लातेहार) : लातेहार जिले के मनिका स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में रीमा देवी ने मृत बच्चे को जन्म दिया. मृत बच्चे के पिता मनोज भुइंया ने प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी राजू कच्छप से शव को घर ले जाने के लिए वाहन उपलब्ध कराने का आग्रह किया.
इस पर प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी ने कहा कि वह वाहन उपलब्ध नहीं करा सकते. यह सुन पिता मनोज और अन्य परिजन नवजात के शव को गोद में लेकर पांच किलोमीटर की दूरी पैदल तय कर बांझीपोखर गांव पहुंचे इसके बाद नवजात के शव को दफनाया गया.
सुबह नौ बजे नवजात की हुई थी मौत : जुंगूर पंचायत के बांझीपोखर टोला निवासी मनोज भुइयां की पत्नी रीमा देवी का प्रसव सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मनिका में मंगलवार की सुबह नौ बजे हुआ था
चिकित्सकों के अनुसार, उक्त महिला ने मृत बच्चे को जन्म दिया था. मनोज भुइयां ने बताया कि प्रसूता को घर से अस्पताल ले जाने के लिए न ही ममता वाहन की सुविधा मिली और न ही कोई सहिया घर पहुंची. प्रसव के बाद स्वास्थ्यकर्मियों ने कहा की बच्चे का शव घर ले जायें और प्रसूता को स्वास्थ्य केंद्र में रहने दें. मनोज ने अस्पताल प्रबंधन से कहा कि उसके पास बस भाड़ा तक के पैसे नहीं है. आप लोग कोई वाहन उपलब्ध करा दें.
बारिश का समय है. कैसे मृत बच्चे को दफनाने गांव ले जायेंगे. इस पर भी चिकित्सा पदाधिकारियों का दिल नहीं पसीजा और उन्होंने कोई मदद करने से इनकार कर दिया. बेबस पिता नवजात का शव गोद में लेकर पैदल ही पांच किलोमीटर दूर अपने गांव पहुंचा .
एक वर्ष से बंद है ममता वाहन की सुविधा
समय से भुगतान नहीं होने के कारण लगभग एक वर्ष से लोगों को ममता वाहन का लाभ नहीं मिल पा रहा है. जरूरत पड़ने पर लोग प्राइवेट वाहनों का उपयोग कर प्रसूता को स्वास्थ्य केंद्र पहुंचाते हैं.
शव को ले जाने की अस्पताल में कोई सुविधा: प्रभारी
इस संबंध में पूछे जाने पर प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी राजू कच्छप ने बताया कि संबंधित सहिया की ड्यूटी टीकाकरण अभियान में लगी थी. इस कारण वह साथ में नहीं आयी थी. उन्होंने बताया कि अस्पताल में शव को ले जाने के लिए कोई सुविधा उपलब्ध नहीं है. इस संबंध में जब सिविल सर्जन डॉ एसपी शर्मा से संपर्क करने का प्रयास किया गया तो उनका मोबाइल फोन नहीं लग पाया.

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