चार कमरे में 776 विद्यार्थी करते हैं पढ़ाई

परियोजना उवि सासंग के विद्यार्थियों को सुविधाएं मयस्सर नहीं चंदवा : रांची–मेदिनीनगर (एनएच-75) मुख्य पथ पर स्थित है परियोजना उच्च विद्यालय सासंग. यहां कुल 776 विद्यार्थी अध्ययनरत हैं. पढ़ाई के लिए महज चार कमरे हैं. इन चार कमरों में इतने विद्यार्थी कैसे बैठते होंगे, इसका अंदाजा लगाया जा सकता है. इन विद्यार्थियों को पढ़ाने के […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 22, 2013 4:21 AM

परियोजना उवि सासंग के विद्यार्थियों को सुविधाएं मयस्सर नहीं

चंदवा : रांचीमेदिनीनगर (एनएच-75) मुख्य पथ पर स्थित है परियोजना उच्च विद्यालय सासंग. यहां कुल 776 विद्यार्थी अध्ययनरत हैं. पढ़ाई के लिए महज चार कमरे हैं. इन चार कमरों में इतने विद्यार्थी कैसे बैठते होंगे, इसका अंदाजा लगाया जा सकता है.

इन विद्यार्थियों को पढ़ाने के लिए विद्यालय में मात्र सात शिक्षक हैं. प्राचार्य सुनील गुप्ता, शिक्षक धनवंत पांडेय, सुरेश मेहता, सिद्धनाथ ठाकुर तीन अन्य. विद्यालय के पास ही विशेष प्रमंडल लातेहार द्वारा भवन बनवाया जा रहा है, जो अब तक अधूरा है.

बेंचडेस्क का भी अभाव

विद्यालय में बुनियादी संसाधनों का अभाव साफ झलकता है. बेंचडेस्क उपस्कर की कमी है. पेयजल, शौचालय बालिका विश्रम गृह की व्यवस्था नहीं है. विद्यालय की भूमि का सीमांकन भी नहीं हो सका है. चहारदीवारी, प्रवेश द्वार, खेल मैदान, पहुंच पथ का अभाव है. विद्यालय की इस दशा के बावजूद शिक्षा विभाग जिला प्रशासन अब तक ठोस पहल नहीं कर पाया है. सांसद विधायक भी बेखबर बने हुए हैं.

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