लोहरदगा लोकसभा सीट पर उम्मीदवारी के लिए कांग्रेस में घमासान

दुर्जय पासवान@गुमला लोकसभा चुनाव की तारीखों का अभी एलान नहीं हुआ है, लेकिन पार्टियां और उनके नेता अभी से उसकी तैयारियों में जुट गये हैं. झारखंड में लोहरदगा लोकसभा सीट पर कांग्रेस के पांच लोगों ने एक साथ दावा ठोंक दिया है. जिन लोगों ने अपनी दावेदारी पेश की है, उसमें सुखदेव भगत, रामेश्वर उरांव […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 2, 2019 9:44 AM

दुर्जय पासवान@गुमला

लोकसभा चुनाव की तारीखों का अभी एलान नहीं हुआ है, लेकिन पार्टियां और उनके नेता अभी से उसकी तैयारियों में जुट गये हैं. झारखंड में लोहरदगा लोकसभा सीट पर कांग्रेस के पांच लोगों ने एक साथ दावा ठोंक दिया है. जिन लोगों ने अपनी दावेदारी पेश की है, उसमें सुखदेव भगत, रामेश्वर उरांव और अरुण उरांव भी शामिल हैं.

बता दें कि कांग्रेस ने 30 जनवरी तक टिकट की इच्छा रखने वालों से आवेदन मंगाये थे. आवेदन की अंतिम तिथि 30 जनवरी बीत जाने के बाद पांच उम्मीदवारों ने नाम पार्टी कार्यालय में हैं. सभी ने जिला अध्यक्ष रोशन बरवा को आवेदन सौंपा है.

सुखदेव भगत, डॉक्टर रामेश्वर उरांव, डॉक्टर अरुण उरांव, गीताश्री उरांव व सुखैर भगत के आवेदन को जिला अध्यक्ष ने प्रदेश अध्यक्ष डॉ अजय कुमार के पास भेज दिया है. टिकट देने पर अंतिम फैसला प्रदेश कमेटी करेगी. सभी पांच उम्मीदवार कद्दावर नेता हैं और टिकट के प्रबल दावेदार भी.

सुखदेव भगत फिलहाल लोहरदगा के विधायक हैं. लगातार अपने क्षेत्र में बने हुए हैं. जनता से लगातार जुड़े हैं. लोहरदगा के अलावा गुमला जिला का भी लगातार दौरा कर रहे हैं. जब भी गुमला आते हैं, वे कहते हैं कि लोकसभा चुनाव लड़ेंगे. यह एक तरह से अपने पक्ष में हवा बनाने की कोशिश है. उनके हाव-भाव से स्पष्ट लगता है कि वह टिकट मिलने के प्रति आश्वस्त हैं.

पूर्व सांसद डॉक्टर रामेश्वर उरांव मोदी लहर में चुनाव हार गये थे. लेकिन, उन्होंने हिम्मत नहीं हारी है. वह कहते हैं कि उन्हें खुद पर भरोसा है, अपने कार्यकर्ताओं पर भरोसा है. इसलिए मैदान में लगातार बने हुए हैं. हारने के बाद भी वे लगातार गुमला व लोहरदगा जिला में लोगों के संपर्क में बने हुए हैं. समय-समय पर गांवों का भी दौरा करते हैं. उन्हें भी पूरा विश्वास है कि इस बार भी टिकट उन्हीं को मिलेगा.

डॉक्टर अरुण उरांव पुलिस सेवा से वीआरएस लेकर राजनीति में आये. स्वर्गीय कार्तिक उरांव के दामाद डॉ अरुण उरांव कांग्रेस के केंद्रीय सचिव व छत्तीसगढ़ राज्य के प्रभारी हैं. छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की इतनी बड़ी जीत के बाद उस राज्य के प्रभारी को लगता है कि टिकट की उनकी दावेदारी सबसे मजबूत है. खेल प्रेमी डॉ उरांव लगातार गुमला जिला में सक्रिय हैं. जनता के एक बुलावे पर उनके बीच पहुंच जाते हैं. वह भी लगातार क्षेत्र में भ्रमण कर रहे हैं.

झारखंड की पूर्व शिक्षा मंत्री और स्व कार्तिक उरांव की बेटी गीताश्री उरांव भी टिकट लेने की होड़ में हैं. लगातार क्षेत्रों का दौरा कर रही हैं. वहीं, सुखैर भगत जो राज्यसभा सांसद धीरज प्रसाद साहू के नजदीकी माने जाते हैं, इस समय गुमला विधानसभा के प्रभारी हैं. वह क्षेत्र का भ्रमण कर रहे हैं. लोगों के संपर्क में हैं और अपने पक्ष में हवा बनाने की कोशिश कर रहे हैं. अब देखना यह है कि कांग्रेस किस नेता में जीत की संभावना देखकर उसे टिकट देती है.

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