कैरो में जमीन विवाद मामले में चाचा ने की भतीजे की हत्या, पुलिस ने किया गिरफ्तार
कुछ देर बाद राम लखन उरांव के घर के पास शोरगुल सुनायी देने के बाद धर्मेंद्र उरांव वहां पहुंचा तो पाया कि उसके भाई अनिल उरांव के साथ उसके चाचा राम लखन उरांव अपने लड़के के साथ मिलकर मारपीट और झंझट कर रहे थे. जब सामने पहुंचा तो पाया कि राम लखन उरांव, राजेश उरांव, गोपाल उरांव, राजकुमार उरांव सभी मिल कर अनिल उरांव के साथ मारपीट कर रहे थे.
लोहरदगा : कैरो थाना क्षेत्र के नगजुआ छोटकी टोली में जमीन विवाद में हुई मारपीट से मृत हुए युवक के भाई के बयान पर पुलिस ने बुधवार को घटना में शामिल एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. मृतक के भाई 22 वर्षीय धर्मेंद्र उरांव ने पुलिस को बताया कि उसका भाई बाहर मजदूरी का काम करता है, जो 18 जून को अपने घर आया था. जिसके बाद 27 जून को वह अपने घर से निकल कर अपने पुराने घर से नवनिर्मित मकान को देखने के लिए निकला,जहां पर उसके चाचा राम लखन उरांव का भी घर है.
कुछ देर बाद राम लखन उरांव के घर के पास शोरगुल सुनायी देने के बाद धर्मेंद्र उरांव वहां पहुंचा तो पाया कि उसके भाई अनिल उरांव के साथ उसके चाचा राम लखन उरांव अपने लड़के के साथ मिलकर मारपीट और झंझट कर रहे थे. जब सामने पहुंचा तो पाया कि राम लखन उरांव, राजेश उरांव, गोपाल उरांव, राजकुमार उरांव सभी मिल कर अनिल उरांव के साथ मारपीट कर रहे थे.
धर्मेंद्र उरांव ने बताया कि वह जैसे ही वहां पहुंचा तो लोग मारपीट करना बंद कर दिये. आसपास के लोगों की मदद से धर्मेंद्र को गांव के लोगों के सहयोग से अपने भाई को जख्मी हालत में उठाकर लोहरदगा सदर अस्पताल इलाज के लिए ले गया, जहां प्राथमिक इलाज के बाद उसे रांची रिम्स रेफर कर दिया गया था. 28 जून की रात में आयुष्मान मंगलम अस्पताल घुटवा रांची में इलाज कराये जाने के दौरान गंभीर हालत को देखते हुए उसे वहां से रिम्स रेफर कर दिया गया.
घायल को परिजन दूसरे दिन रिम्स ले गये., जहां चिकित्सकों ने अनिल उरांव को मृत घोषित कर दिया. धर्मेंद्र उरांव ने पुलिस को बताया कि जमीन विवाद को लेकर उसके चाचा राम लखन उरांव और उनके तीन पुत्रों ने मारकर उसे घायल कर दिया था. धर्मेंद्र उरांव के बयान पर कैरो थाना पुलिस ने थाना कांड संख्या 26/ 21 धारा 342, 323, 325, 302 / 34 भादवि के तहत प्राथमिकी दर्ज करते हुए आगे की कार्रवाई करते हुए बुधवार को आरोपी रामलखन उरांव को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया.