ग्राम प्रधानों को पेसा कानून व अधिकार की दी गयी जानकारी
बासेतकुंडी पंचायत कार्यालय में खजूरडंगाल और बासेतकुंडी पंचायत के ग्राम प्रधानों का एकदिवसीय उन्मुखिकरण कार्यशाला का आयोजन किया गया.
पाकुड़िया. लोक कल्याण सेवा केंद्र देवीनगर की ओर से सोमवार को बासेतकुंडी पंचायत कार्यालय में खजूरडंगाल और बासेतकुंडी पंचायत के ग्राम प्रधानों का एकदिवसीय उन्मुखिकरण कार्यशाला का आयोजन किया गया. कार्यशाला में उपस्थित ग्राम प्रधानों को संस्था प्रमुख राजीव रंजन ने पंचायत प्रावधान अधिनियम, 1996 पेसा अधिनियम के बारे में जानकारी दी. बताया कि भारत के अनुसूचित क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के लिए पारंपरिक ग्राम सभाओं के माध्यम से स्वशासन सुनिश्चित करने के लिए भारत सरकार द्वारा लागू अधिनियम एक कानून है पेसा अधिनियम. इसके तहत भारत के 10 राज्य आते हैं. पर झारखंड राज्य में पूर्ण रूप से इस कानून को लागू नहीं किया गया है. झारखंड के परंपरागत सामुदायिक रीति रिवाज व नेतृत्व कर्ता ग्राम प्रधान, परानिक, जोग मांझी, गुरित के जिम्मेदारी के बारे में भी कार्यशाला में जानकारी दी गयी. बताया कि पंचायतों का काम ग्राम-सभा की देख-रेख में चलता है. यह ग्राम पंचायत में विकास योजना बनाने में मदद करती है.
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