पांच वर्ष पहले हुआ निर्माण अब तक शुरू नहीं हुई पढ़ाई

हुसैनाबाद : हुसैनाबाद अनुमंडलीय परिसर में आइटीआइ का भवन 2011 में ही तैयार हो चुका है, लेकिन अभी तक इसमें आइटीआइ की पढ़ाई शुरू नहीं हुई है. इस भवन के निर्माण कार्य पर दो करोड़, 35 लाख रुपये खर्च हुए हैं. वित्त वर्ष 2007-08 में यह योजना तत्कालीन जलसंसाधन मंत्री कमलेश सिंह के प्रयास से […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 14, 2016 12:42 AM
हुसैनाबाद : हुसैनाबाद अनुमंडलीय परिसर में आइटीआइ का भवन 2011 में ही तैयार हो चुका है, लेकिन अभी तक इसमें आइटीआइ की पढ़ाई शुरू नहीं हुई है. इस भवन के निर्माण कार्य पर दो करोड़, 35 लाख रुपये खर्च हुए हैं.
वित्त वर्ष 2007-08 में यह योजना तत्कालीन जलसंसाधन मंत्री कमलेश सिंह के प्रयास से स्वीकृत हुआ था. 2011 में कार्य पूरा हुआ, लोगों का कहना है कि यदि आइटीआइ की पढ़ाई शुरू होती, तो बच्चों को लाभ होता, लेकिन भवन बन कर बेकार है. अभी इस भवन का उपयोग शादी-विवाह या राजनीति कार्यक्रम में हो रहा है. लोगों का कहना है कि यदि तत्काल ध्यान नहीं दिया गया, तो एक दो वर्षों में यह भवन बेकार हो जायेगा.
पशु चिकित्सालय भवन तैयार पर नहीं हो रहा है उपयोग
पड़वा. पड़वा प्रखंड में तीन वर्ष पहले पशु चिकित्सालय भवन बना है. लेकिन अभी तक उसके बारे में प्रखंड कार्यालय को कोई जानकारी नहीं है. प्रखंड कार्यालय द्वारा यह बताया गया कि पड़वा में न तो पशु चिकित्सा पदाधिकारी की पोस्टिंग है और न ही कोई कर्मी की. तो ऐसे में भवन का उपयोग क्या है, वे लोग खुद नहीं समझ पा रहे हैं. इस भवन के निर्माण पर करीब 21 लाख रुपये खर्च हुए थे. उपयोग नहीं होने के कारण खिड़की दरवाजे टूट रहे हैं.
तीन करोड़ की लागत से बने अस्पताल भवन का उपयोग नहीं
सतबरवा में वर्ष 2007-08 में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भवन का निर्माण कार्य शुरू हुआ था. कार्य पूर्ण भी हो गया है, लेकिन उसका कोई उपयोग नहीं हो रहा है. कहा जाता है कि अभी तक यह भवन विभाग को हैंड ओवर नहीं हुआ है. जबकि इसके निर्माण पर लगभग तीन करोड़ रुपये खर्च हुए हैं.
कब यह भवन प्रयोग में आयेगा, यह सवाल लोग उठाते हैं. यदि भवन उपयोग में होता तो लोगों को लाभ होता. सतबरवा को 1994 में प्रखंड का दरजा मिला है, उसके बाद प्रखंड स्तरीय अस्पताल भवन का निर्माण हुआ है, लेकिन इसका भी उपयोग नहीं हो रहा है.

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