हितों की रक्षा करने में सरकार विफल

मेदिनीनगर : 11 सूत्री मांगों को लेकर भारतीय आदिम जनजाति परिषद ने बुधवार को समाहरणालय स्थित उपायुक्त कार्यालय का घेराव व प्रदर्शन किया. परिषद के बैनर तले जिले के विभिन्न क्षेत्रों से आये हजारों की संख्या में आदिम जनजाति परिवार के लोगों ने शिवाजी मैदान से रैली निकाली. शिवाजी मैदान से निकली रैली शहर के […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 22, 2016 8:04 AM
मेदिनीनगर : 11 सूत्री मांगों को लेकर भारतीय आदिम जनजाति परिषद ने बुधवार को समाहरणालय स्थित उपायुक्त कार्यालय का घेराव व प्रदर्शन किया. परिषद के बैनर तले जिले के विभिन्न क्षेत्रों से आये हजारों की संख्या में आदिम जनजाति परिवार के लोगों ने शिवाजी मैदान से रैली निकाली.
शिवाजी मैदान से निकली रैली शहर के मुख्य मार्गों से होते हुए कचहरी परिसर पहुंचा. रैली में शामिल आदिम जनजाति परिवार के लोगों ने अपने 11 सूत्री मांगों के समर्थन में उपायुक्त कार्यालय के समक्ष रोषपूर्ण प्रदर्शन करते हुए नारेबाजी की.
प्रदर्शन के बाद धरना-सभा का आयोजन हुआ. इसकी अध्यक्षता परिषद के अवधेश राम व संचालन अर्जुन परहिया ने किया. धरना सभा के मुख्य अतिथि भारतीय जन मुक्ति पार्टी के केंद्रीय अध्यक्ष उमाशंकर बैगा व्यास ने राज्य सरकार की नीतियों व कार्यों की आलोचना की.
कहा कि झारखंड की रघुवर सरकार आदिम जनजातियों के हितों की रक्षा करने में असमर्थ रही है. सरकार ने सीएनटी व एसपीटी एक्ट में संशोधन कर आदिवासियों का गला घोट रही है. वहीं आदिम जनजातियों को मुख्यमंत्री खाद्यान्न योजना के तहत जो अनाज मिलता था, उसे साजिश के तहत जन वितरण प्रणाली के दुकानदारों के पास भेज दिया गया. इस व्यवस्था से आदिम जनजातियों को समय पर अनाज नहीं मिल पा रहा है.
दुकानदार अनाज की कालाबाजारी कर रहे हैं. प्रशासन को चाहिए कि प्रखंड मुख्यालय से ही आदिम जनजातियों को अनाज वितरण की व्यवस्था करे. धरना कार्यक्रम में परिषद के ज्योति सोरेन, तेज कुमार कोरवा, विश्वनाथ परहिया, जॉर्ज कोरवा, प्रेम शीला देवी आदि ने केंद्र व राज्य सरकार के निर्णय को जनविरोधी बताया. कहा कि गरीबों का शोषण दमन जारी है. गरीब आज भी परेशान है और सरकार में बैठे लोग जश्न मना रहे हैं.
सरकार की जनविरोधी नीति एवं कार्यों से जनता में आक्रोश है. सरकार गरीबों के हित के लिए काम नहीं करेगी, तो निश्चित रूप से सरकार के खिलाफ जन आक्रोश भड़केगा. धरना कार्यक्रम में शामिल लोगों ने राज्यपाल के नाम उपायुक्त को मांग पत्र सौंपा. मांग पत्र के माध्यम से राज्यपाल से इस मामले में कार्रवाई करने की मांग कीगयी है.

Next Article

Exit mobile version