Jharkhand News: पलामू जिले में एक तरफ जहां पारा चढ़ने से लोग बेहाल हैं, वहीं पेयजल संकट ने इनकी परेशानी और बढ़ा दी है. पीने के पानी के लिए ये कड़ी मशक्कत कर रहे हैं. पलामू प्रमंडलीय मुख्यालय मेदिनीनगर के कांदू मोहल्ले में पेयजल संकट गहरा गया है. इस मोहल्ले में रहने वाले लोग गंभीर पेयजल संकट से जूझ रहे हैं. जलस्तर नीचे चले जाने के कारण इस मुहल्ले के 90 प्रतिशत हैंडपंप जवाब दे चुके हैं. इस मुहल्ले के अधिकतर लोगों को शहरी जलापूर्ति योजना का लाभ नहीं मिल रहा है क्योंकि मोहल्ले के कुछ हिस्से में जलापूर्ति के लिए पाइप लाइन नहीं बिछाया गया, जबकि निचले इलाकों में 10 से 15 मिनट ही जलापूर्ति होती है.
कोयल नदी में चुआंड़ी खोदकर निकाल रहे पानी
एक तरफ जहां चिलचिलाती धूप से पलामू के लोग परेशान हैं, वहीं दूसरी तरफ पेयजल संकट से लोग जूझ रहे हैं. मेदिनीनगर के कांदू मोहल्ले के ऊपरी हिस्से में बिछाए गए पाइप से पानी मिलता ही नहीं है. ऐसी स्थिति में इस मोहल्ले के अधिकतर लोग कोयल नदी के पानी पर ही निर्भर हैं. कोयल नदी सूख जाने के कारण अब लोगों को चुआंड़ी खोदकर पानी का जुगाड़ करना पड़ रहा है. गर्मी में पीने के पानी के लिए लोगों को कड़ी मशक्कत करनी पड़ रही है.
पेयजल के लिए कड़ी मशक्कत कर रहे मोहल्ले के लोग
मेदिनीनगर के कांदू मोहल्ले के राजू जायसवाल, संजय राजन, विमला देवी, शारदा देवी, अंजना देवी, घनश्याम सहित कई लोगों का कहना है कि अब इस मोहल्ले के लोग रात-दिन पानी की जुगाड़ में लगे रहते हैं. जल संकट दूर हो, इसके लिए कभी भी न तो पेयजल एवं स्वच्छता विभाग गंभीर हुआ और ना ही नगर निगम प्रशासन. गर्मी के दिनों में पेयजल को लेकर चिंता बढ़ी रहती है. इसके बाद भी किसी को इसकी फिक्र नहीं है. मोहल्ले के लोग बेबस हैं. किसी तरह कोयल नदी में चुआंड़ी खोदकर पीने के लिए पानी का जुगाड़ करने पर मजबूर हैं.
रिपोर्ट : चंद्रशेखर सिंह