पलामू टाइगर रिज़र्व के अंतर्गत आने वाला बेतला नेशनल पार्क की स्थापना के बाद से ही पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र रहा है. लेकिन यहां आने वाले पर्यटकों में बाहरी सैलानी ही ज्यादा होते थे, लेकिन पिछले एक साल से यह परिदृश्य बदला है और स्थानीय लोगों के लिए भी यह आकर्षण का केंद्र बना है. आलम यह है की अब बेतला स्थानीय सैलानियों का पसंदीदा वीकेंड डेस्टिनेशन बन गया है. शनिवार और रविवार को यहां मेदिनीनगर, बरवाडीह, लातेहार के साथ झारखंड के अन्य जिलों से भी लोग आ रहे हैं.
पहले सिर्फ प्रकृति से लगाव रखने वाले और वन्यजीवों की दीदार के लिए ही लोग बेतला आते थे. इसके अलावा समय बिताने के लिए यहां कुछ नहीं था. लेकिन पिछले एक साल से यहां कई बदलाव देखने को मिला है. दरअसल बेतला में एक शानदार चिल्ड्रन पार्क बना है, जहां झूले व मनोरंजन के अन्य साधन हैं. यहां बच्चों के साथ पूरा परिवार मजे से दो चार घंटा समय बिता सकता है. चिल्ड्रन पार्क का खुलना बेतला में वीकेंड सैलानियों के जमघट लगने का सबसे बड़ा कारण है.
बेतला पार्क में सुरक्षा के भी पुख्ता इंतजाम हैं, जिस वजह से लोग बिना किसी डर भय के इस स्थान पर आ जा सकते हैं. पहले शाम होते ही यहां की सड़क वीरान हो जाती थी लेकिन अब रात में भी गाड़ियों का आना जाना लगा रहता है. बरवाडीह के बीडीओ राकेश सहाय ने बताया की शनिवार और रविवार को यहां सुरक्षा का खास इंतज़ाम रहता है. वे खुद थाना प्रभारी के साथ गश्त लगाते हैं. अन्य दिनों में यहां पुलिस चौकी में पदस्थापित जवान सुरक्षा में तैनात रहते हैं. बेतला के नजदीक सीआरपीएफ कैंप के खुलने से भी लोगों का भरोसा बढ़ा है
ऐसा नहीं है की बेतला सिर्फ आम लोगों के लिए ही आकर्षण का केंद्र बना हुआ है. आम लोगों के साथ खास भी बेतला पार्क की खींचे चले आ रहे हैं. रविवार को राज्य के चार विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा, अमर कुमार बाउरी, नवीन जायसवाल व अलोक चौरसिया बेतला भ्रमण का आनंद लिया. पूर्व पर्यटन मंत्री सह चंदनकियारी विधायक अमर कुमार बाउरी ने कहा की बेतला पूरे झारखंड का अग्रणी पर्यटन स्थल में से एक है, उन्हें जब भी मौक़ा मिलता है यहां रात्रि विश्राम कर घूमना पसंद करते हैं. वहीं हटिया विधायक नवीन जायसवाल ने कहा की वे एक शादी समारोह में आये थे पर वहां न रूककर बेतला में रूकने और घूमने का निर्णय लिया. उन्होंने पर्यटकों से अपील की कि बेतला घूमने जरूर आएं.
बेतला इन दिनों झारखण्ड के विभिन्न स्कूलों के शैक्षणिक भ्रमण का मुख्य केंद्र बन गया है. ठहरने के लिए अब पर्याप्त होटल का होना भी इसकी बड़ी वजह है. गढ़वा जिले के तिलदाग के शांतिनिकेतन स्कूल के महेंद्र कुमार विश्वकर्मा व गुमला जिले की ज्ञान ज्योति स्कूल की नीलम टोप्पो अपने स्कूल के सैकड़ों बच्चो के साथ बेतला घूमने आयी. उन लोगों ने प्रभात खबर को बताया की बेतला को देखना व समझना पूरे झारखंड को देखने जैसा है. यहां की जैव विविधता तो ज्ञान बढ़ाने में मदद करता ही है साथ में पलामू किले को देखना इतिहास का साक्षात दर्शन जैसा है. गुमला से ही घूमने आयी छात्रा नरगिस परवीन भी बेतला देखकर बेहद खुश थी.
रांची से बेतला घूमने आयी मास कॉम की छात्रा सौम्या रागिनी को भी बेतला खूब भाया. पूरे परिवार के साथ बेतला घूमने आयी रागिनी ने प्रभात खबर को बताया की वीकेंड में प्रकृति का फ्रेश माहौल मिलना काफी सुखद अनुभूति देता है. रांची के ही दवा व्यवसायी कौशलेन्द्र किशोर बताते हैं कि बेतला में साफ सफाई में काफी ध्यान दिया गया है जो अच्छी बात है. उन्होंने पार्क व अन्य कार्यों की भी सराहना की.
पहले पार्क के आस-पास नाश्ते के लिए सिर्फ एक कैंटीन थी तो वहीं अब कई निजी रेस्टोरेंट भी खुल गए हैं. जिससे अब लोगों को खाने के लिए लंबा इंतजार नहीं करना होता है. इसके अलावे बेतला पार्क के आस पास भी ठेले पर फास्ट फूड की दुकानें खुल गयी है. फास्ट फूड संचालक विष्णु प्रजापति बताते हैं कि पिछले एक साल से शनिवार और रविवार को काफी लोग बेतला आ रहे हैं इससे उनकी आमदनी बढ़ी है.
रिपोर्ट- सैकत चटर्जी, पलामू