मुसहर परिवारों को डेढ़ वर्ष से न्याय का इंतजार
मुरुमातू से मारपीट कर खदेड़े गये मुसहर परिवार फिलहाल पांडू के जर्जर पुराने थाना भवन में बाल-बच्चों के साथ दिन काट रहे हैं.
पांडू.
पांडू के मुरुमातू से मारपीट कर खदेड़े गये मुसहर परिवारों को डेढ़ वर्षों के बाद भी न्याय नहीं मिला है. फिलहाल सभी पांडू के जर्जर पुराने थाना भवन में बाल-बच्चों के साथ दिन काट रहे हैं. हालांकि सरकार द्वारा दो-दो डिसमिल जमीन व आंबेडकर आवास के लिए स्वीकृति भी दी गयी है, लेकिन आजतक न तो जमीन मिली और न ही आवास बन पाया. इनके लिए जिला प्रशासन ने भूमि पट्टा के नाम पर पांडू के ग्राम नेउरी के बांकी नदी के किनारे दो-दो डिसमिल जमीन चिह्नित की थी. लेकिन नेउरी के लोगों ने आपत्ति दर्ज करायी थी कि उक्त जमीन खेल का मैदान है. किसी भी परिस्थिति में इस पर आवास नहीं बनने दिया जायेगा. इसके बाद से अभी तक मुसहर परिवारों के लिए जमीन उपलब्ध नहीं हो पाया है. जबकि नंदलाल मुसहर की पत्नी राधा देवी व जितेंद मुसहर की पत्नी खुशबू देवी को बाबा साहेब भीम राव आंबेडकर आवास योजना का स्वीकृति पत्र भी मिला था. नंदलाल मुसहर व जितेंद्र मुसहर ने कहा कि सरकार व प्रशासन से आग्रह करते-करते थक चुके हैं. अभी तक न्याय नहीं मिला. जर्जर छत के नीचे परिवार के साथ सोते हैं. प्रशासन ने आधार कार्ड व पहचान पत्र बनाने की बात कही थी. लेकिन अभी तक सभी परिवार का आधार कार्ड व पहचान पत्र नहीं बन पाया है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है