वस्थिापितों ने फीडर ब्रेकर का काम ठप कराया

विस्थापितों ने फीडर ब्रेकर का काम ठप कराया विस्थापितों की मांगों पर नहीं हुआ विचार फोटो फाइल संख्या 30 कुजू एफ: कार्य ठप कराते रैयत विस्थापित कुजू.बीपीपीएल एंड यूसीसी (जेबी)आउटसोर्सिंग कंपनी द्वारा रैयत विस्थापितों के साथ वादाखिलाफी कर कार्य चालू करने का आरोप लगाते हुए शुक्रवार को रैयत विस्थापितों ने आरा चार नंबर स्थित फीडर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 30, 2015 10:25 PM

विस्थापितों ने फीडर ब्रेकर का काम ठप कराया विस्थापितों की मांगों पर नहीं हुआ विचार फोटो फाइल संख्या 30 कुजू एफ: कार्य ठप कराते रैयत विस्थापित कुजू.बीपीपीएल एंड यूसीसी (जेबी)आउटसोर्सिंग कंपनी द्वारा रैयत विस्थापितों के साथ वादाखिलाफी कर कार्य चालू करने का आरोप लगाते हुए शुक्रवार को रैयत विस्थापितों ने आरा चार नंबर स्थित फीडर ब्रेकर का काम ठप करा दिया. विस्थापितों ने मौके पर कोयला गिराने पहुंची ट्रांसपोर्टिंग कंपनी के डंपर को भी बिना कोयला गिराये वापस भेज दिया. रैयत विस्थापितों का कहना है कि उनलोगों को दिये मांग पत्र को लेकर कंपनी प्रबंधन के साथ पूर्व में वार्ता हुई थी. इसमें कहा गया था कि विस्थापितों की मांगों पर विचार करने के बाद ही कार्य को चालू कराया जायेगा. परंतु प्रबंधन उनकी मांगों पर बिना विचार किये ही काम को चालू करा रहा है. विस्थापितों ने कहा कि जिला मुख्यालय से लेकर सीसीएल मुख्यालय, रांची तक धरना -प्रदर्शन के माध्यम से मांग पत्र दिया गया. सारूबेड़ा परियोजना की सीओसीपी परियोजना को चालू कराने का प्रयास किया जा रहा है. इसका भी विरोध किया जायेगा. मौके पर चितरंजन महतो, जयनंदन महतो, दशरथ महतो, सुनील महतो, गोपाल मांझी, गिरधारी महतो, सुरेश महतो, अशोक महतो, दर्शन महतो, रामधन महतो, नंदकिशोर महतो, रथु महतो, कमल महतो, जोधन महतो, चितामन महतो, बबलू महतो, छोटन महतो, विरेंद्र, घनश्याम, टुपेश्वर, सुरेंद्र, अमरलाल, शिवा, धीरेन, वासु, दिलीप, पटेल, लक्ष्मण आदि माैजूद थे. कोयला क्रशर करने वाली आउटसोर्सिंग कंपनी बीपीपीएल एंड यूसीसी के प्रबंधन का कहना है कि उनलोगों का काम कोयला को क्रश करना है. सीसीएल प्रबंधन उन्हें कोयला मुहैया करायेगा, तो वे लोग कोयला क्रश कर सकते हैं.समस्या का पहले समाधान हो : कोयला परिवहन में लगी ट्रांसपोर्टिंग कंपनी बराई एसोसिएट के आदर्श चौधरी ने बताया कि सीसीएल प्रबंधन लोकल लोगों की समस्या का पहले समाधन करे. इसके बाद ही कोयला परिवहन का कार्य हो. प्रबंधन कुछ नहीं कर सकता है : पीओ सारूबेड़ा पीओ एसके परासर का कहना है कि कोयला क्रशर करने का काम जिस कंपनी को दिया गया है, उनका काम है कैसे लोगों की समस्याओं का समाधन करते हुए कार्य करे. इस पर सीसीएल प्रबंधन कुछ नहीं कर सकता है.

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