शंकर पोद्दार, रजरप्पा रामगढ़ उप विकास आयुक्त रोबिन टोप्पो ने जिले के 89 रोजगार सेवकों का एक साथ स्थानांतरण किया है. इनका स्थानांतरण विभिन्न प्रखंडों में किया गया है. इससे रोजगार सेवकों की परेशानी बढ़ गयी है. एक ही जगह सालों से रह कर रोजगार सेवक अपनी पैठ जमा चुके थे. बताया जाता है कि वर्ष 2007 और 2011 में संविदा पर ग्राम रोजगार सेवकों की बहाली हुई थी. इसके बाद रोजगार सेवकों ने जिस प्रखंड में योगदान दिया था, उस प्रखंड में पिछले कई साल से जमे थे. बीच-बीच में एक दो बार इनकी पंचायत बदल गयी थी. अब 17 साल के बाद रोजगार सेवकों को अलग – अलग प्रखंड में स्थानांतरण किया गया है. इससे कुछ रोजगार सेवकों में मायूसी है. अब उन्हें लंबी दूरी तय कर दूसरा प्रखंड जाना पड़ेगा. रोजगार सेवकों के स्थानांतरण से जनप्रतिनिधियों व लाभुकों में खुशी है. सूत्रों ने बताया कि चितरपुर और पतरातू प्रखंड में रोजगार सेवकों को विरमित किया गया है. कई प्रखंडों में अब तक रोजगार सेवकों को विरमित नहीं किया गया है. सूत्रों ने बताया कि कुछ रोजगार सेवक अपने स्थानांतरण को रुकवाने का प्रयास कर रहे हैं. उधर, कुछ रोजगार सेवकों ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि वर्ष 2007 में सरकार के विशेष सचिव सह राज्य ग्रामीण रोजगार गारंटी आयुक्त ने पत्र जारी कर सभी उपायुक्त और उप विकास आयुक्त को निर्देश दिया था कि रोजगार सेवकों का पदस्थापना गृह पंचायत या गृह प्रखंड या फिर प्रखंड से सटे प्रखंड में किया जाये. गौरतलब हो कि दूसरे जिले के कई रोजगार सेवक रामगढ़ जिला में पदस्थापित हैं. क्या कहते हैं डीडीसी : डीडीसी रोबिन टोप्पो ने कहा कि रोजगार सेवक काफी लंबे समय से एक ही जगह पर थे. रोजगार सेवकों की मनमानी बढ़ने से संबंधित शिकायतें मिल रही थीं. इसके बाद ही रोजगार सेवकों का स्थानांतरण किया गया है.
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