बैठक: राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण के कार्यों की हुई समीक्षा, इस वर्ष 1000 पंचायतों को पूर्ण साक्षर बनाने का रखा है लक्ष्य
रांची: स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग की सचिव आराधना पटनायक ने कहा कि वर्ष 2020 तक झारखंड को पूर्ण साक्षर राज्य बनाने का लक्ष्य है. इसके लिए विभाग द्वारा कार्ययोजना तैयार की गयी है. शैक्षणिक सत्र 2017-18 में राज्य के एक हजार पंचायत को पूर्ण साक्षर बनाने का लक्ष्य रखा गया है. उक्त बातें शिक्षा […]
उक्त बातें शिक्षा सचिव ने गुरुवार को झारखंड एकेडमिक काउंसिल सभागार में राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण के कार्यों की मासिक समीक्षा बैठक में कही. समीक्षा बैठक में सभी जिलों के जिला शिक्षा पदाधिकारी व साक्षरता केंद्र के प्रेरकों ने भाग लिया. शिक्षा सचिव ने गांव स्तर से निरक्षर लोगों का फिर से सर्वे करने को कहा. साक्षरता को लेकर चलाये जा रहे अभियान की रिपोर्ट प्रति माह विभाग को भेजने का निर्देश दिया.
प्राथमिक शिक्षा निदेशक मीना ठाकुर ने कहा कि केंद्र की गतिविधियों को और बेहतर करें. साक्षरता के लिए चलाया जा रहा अभियान धरातल पर दिखे. केवल आइवाश के लिए रिपोर्ट न भेजें. जहां भी केंद्र चल रहा है, वहां साक्षरता केंद्र का बोर्ड लगाये. पंचायत में लोगों को साक्षरता केंद्र खोजना नहीं पड़े. प्राथमिक शिक्षा निदेशक ने कहा कि साक्षरता प्रेरक के मानदेय का भुगतान अब बैंक के माध्यम से किया जायेगा. उन्होंने सभी प्रेरक को अपना बैंक खाता आधार से जोड़ने को कहा. साक्षरता प्रेरक के बकाया मानदेय का भुगतान इस माह कर दिया जायेगा. बैठक में दक्षिणी छोटानागपुर प्रमंडल के क्षेत्रीय उप शिक्षा निदेशक एएन ठाकुर, उत्तरी छोटानागपुर प्रमंडल के क्षेत्रीय उप शिक्षा निदेशक रतन श्रीवास्तव, संताल परगना प्रमंडल के अशोक कुमार शर्मा, कोल्हान प्रमंडल के अरविंद विजय विलूंग, प्राथमिक शिक्षा उप निदेशक मिथलेश कुमार सिन्हा समेत विभिन्न जिलाें के जिला शिक्षा पदाधिकारी उपस्थित थे.