रांची : स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की हटिया शाखा में खोले गये भानु कंस्ट्रक्शन के खाते (नंबर 36310149578) से पैसों की निकासी पर रोक लगा दी गयी है. इस खाते में पैसा ट्रांसफर किया जा सकेगा, पर खाता धारक पैसे निकाल नहीं सकेंगे. इसी खाते में मिड डे मील की 100 करोड़ की राशि पांच अगस्त को ट्रांसफर कर दी गयी थी. भानु कंस्ट्रक्शन का यह खाता करीब नौ महीने पहले 14 दिसंबर 2016 को ही खोला गया था.
इस खाते में पते के रूप में सेकेंड फ्लोर, बसंती रेसीडेंसी, शिवदयाल नगर, रांची दर्ज है. यह खाता संजय तिवारी के हस्ताक्षर से खोला गया था. संजय तिवारी भानु कंस्ट्रक्शन का प्रोपराइटर है. कुल 70 करोड़ की वसूली के बाद इस खाते में फिलहाल मात्र 205 रुपये ही बचे हैं.
जैसे-जैसे इस खाते में पैसे आ रहे हैं, बैंक उसे रिकवर कर रहा है. खाते से किसी प्रकार का लोन नहीं लिया गया है. बैंक खाते में जो मोबाइल नंबर (नंबर 9771899999) दर्ज कराया गया है, वह भी बंद है. बैंक खाते में मोबाइल नंबर 9771899999 दर्ज है.
लग्जरी वाहनों का शौकीन, पिता थे आहत
बताया जाता है कि संजय की करतूत से आहत उसके पिता ने घर से बाहर निकलना बंद कर दिया था. वह केवल पेंशन लाने के दिन घर से बाहर निकलते थे. आरोप है कि संजय ने इंजीनियरिंग की पढ़ाई के नाम पर अपने पिता से भी बड़ी राशि वसूली थी. फर्राटेदार अंग्रेजी बोल कर लोगों को आसानी से जाल में फंसा लेता है. संजय लग्जरी वाहनों का शौकीन है. संजय तिवारी पहले धनबाद के हरिहरपुर थाना क्षेत्र में शर्मा कॉलोनी गोमो में रहता था. पिता स्वर्गीय शिव विलास तिवारी बिशॉप रॉकी उच्च विद्यालय में शिक्षक थे. तीन भाइयों में संजय सबसे छोटा है. बड़ा भाई विजय कुमार तिवारी असम चाय बागान में मैनेजर हैं. मंझला भाई अजय कुमार तिवारी गोमो के संत जॉन डी-ब्रिटो स्कूल में टीचर थे. संजय की करतूत से तंग आकर अजय बड़े भाई के पास असम चला गया है. संजय के पिता शिव विलास तिवारी का पिछले साल निधन हो गया. संजय पिता के दाह संस्कार व श्राद्ध कर्म में भी गोमो नहीं आया था.
क्या कह रही कंस्ट्रक्शन कंपनी
मामले के खुलासे के दो दिन बाद भानु कंस्ट्रक्शन की जीएम अलका सिंह सामने अायी. उन्होंने अपना पक्ष रखा. कहा कि इस मामले में उनकी कोई गलती नहीं है. बैंक के माध्यम से 19 सितंबर को इसकी सूचना मिली कि मिड डे मील के 100 करोड़ रुपये कंपनी के खाते में जमा हो गये हैं. जानकारी मिलते ही कंपनी ने अपने खाते में बची 48 करोड़ 19 सितंबर को ही लौटा दिये. इसके बाद से कंपनी लगातार पैसे लौटा रही है. 22 सितंबर को 25 लाख, 25 सितंबर को 19 करोड़, 26 सितंबर को 2.68 करोड़ और 27 सितंबर को सात लाख रुपये बैंक को वापस किये गये. सरकारी पैसा खर्च करने के मुद्दे पर उन्होंने कहा : कंपनी पैसा लेने के लिए अपने क्लाइंट से लगातार संपर्क कर रही थी. इस बीच खाते में मिड डे मील के 100 करोड़ रुपये आ गये. कंपनी को लगा कि पैसा क्लाइंट ने जमा कराया है. इसके बाद पैसे खर्च किये जाने लगे. बैंक के शेष 30 करोड़ रुपये लौटाने के लिए कंपनी अपने स्रोत से पैसे जुटा रही है.
जेल जा चुका है संजय तिवारी
भानु कंस्ट्रक्शन के प्रोपराइटर संजय तिवारी पर बोकारो, बेरमो, भागलपुर, मोकामा, धनबाद और देवघर समेत कई जगहों पर धोखाधड़ी और जालसाजी का मामला दर्ज है. आरोप है कि उसने परिचित लोगों से टाटा कंपनी में नौकरी दिलाने के नाम पर गोमो में ही लाखों रुपये ठगी की थी. झारखंड व बिहार में लोगों से टावर लगाने के नाम पर भी लाखों रुपये की ठगी करने का आरोप है. इस मामले में वह भागलपुर जेल भी गया था. मोकामा व बेरमो के केस में भी वह जेल जा चुका है. जसीडीह थाना के गोसांयडीह गांव निवासी मो मुख्तार अंसारी ने चेक बाउंस होने के बाद संजय के खिलाफ मामला दर्ज करवाया था. कोर्ट में हाजिर नहीं होने के कारण सीजेएम कुमार क्रांति प्रसाद की अदालत ने संजय कुमार तिवारी के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया है.