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घुटना प्रत्यारोपण असफल री-रिविजन से हुआ ठीक

रांची : नवादा बिहार के 70 वर्षीय कृष्णा सिंह को दो बार हुए घुटना प्रत्यारोपण में असफलता के बाद तीसरी बार री-रिविजन ऑपरेशन से राहत मिली है. मरीज का 10 दिन पहले गुलमोहर अस्पताल में घुटने का री-रिविजन ऑपरेशन किया गया. अॉपरेशन के बाद मरीज अब अपने पैर पर खड़ा होने लगा है. हालांकि सावधानी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 21, 2017 8:40 AM
रांची : नवादा बिहार के 70 वर्षीय कृष्णा सिंह को दो बार हुए घुटना प्रत्यारोपण में असफलता के बाद तीसरी बार री-रिविजन ऑपरेशन से राहत मिली है. मरीज का 10 दिन पहले गुलमोहर अस्पताल में घुटने का री-रिविजन ऑपरेशन किया गया. अॉपरेशन के बाद मरीज अब अपने पैर पर खड़ा होने लगा है. हालांकि सावधानी के लिए उन्हें 15 दिनों तक सहारा लेकर चलने को कहा गया है. यह बातें सोमवार को हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ अंचल कुमार ने कही.
उन्होंने कहा कि पहली बार मरीज के घुटने का ऑपरेशन चार साल पहले किया गया था. कुछ दिन बाद ही पुन: समस्या शुरू हो गयी थी. इसके बाद डॉक्टर ने दोबारा ऑपरेशन किया. कृत्रिम घुटना को दुरुस्त किया, लेकिन समस्या जस की तस रही. इसके बाद मरीज गुलमोहर अस्पताल आया. यहां इंप्लांट को हटाया गया. घुटने की सफाई की गयी.
मरीज को आराम करने के लिए कहा गया. जब घाव पूरी तरह सूख गया व हड्डी मजबूत हो गयी, तो री-रिविजन ऑपरेशन किया गया. उन्होंने कहा कि अब री-रिविजन के मरीज ज्यादा आ रहे हैं, क्योंकि पहले हुए प्रत्यारोपण में समस्या आनी शुरू हो गयी है. यह प्रत्यारोपित घुटने की समय सीमा निर्धारित होने के कारण हो रहा है.

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