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नये निवेश का मार्ग आसान करने के लिए चार स्तर पर कमेटी बनेगी

झारखंड सिंगल विंडो क्लीयरेंस एक्ट को और सुदृढ़ करने जा रही सरकार रांची : राज्य में नये निवेश का मार्ग सुगम करने के लिए सरकार कई बदलाव करने जा रही है. खासकर, औद्योगिक सरलीकरण को लेकर सचिवालय की प्रक्रियाओं को सरल करने के लिए चार स्तर पर कमेटी बनेगी और मॉनिटरिंग करेगी़ झारखंड औद्योगिक आधारभूत […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 26, 2017 8:03 AM
झारखंड सिंगल विंडो क्लीयरेंस एक्ट को और सुदृढ़ करने जा रही सरकार
रांची : राज्य में नये निवेश का मार्ग सुगम करने के लिए सरकार कई बदलाव करने जा रही है. खासकर, औद्योगिक सरलीकरण को लेकर सचिवालय की प्रक्रियाओं को सरल करने के लिए चार स्तर पर कमेटी बनेगी और मॉनिटरिंग करेगी़ झारखंड औद्योगिक आधारभूत संरचना विकास निगम (जुडको) को मजबूती प्रदान करने और सिंगल विंडो क्लीयरेंस के लिए यह कमेटी बनायी जा रही है. मोमेंटम झारखंड के बाद औद्योगिक समूहों से मिले सुझाव के बाद राज्य सरकार झारखंड सिंगल विंडो क्लीयरेंस एक्ट 2015 को और सुदृढ़ करने जा रही है. उद्योग विभाग द्वारा चार स्तरीय कमेटी के लिए अधिसूचना जारी करने की तैयारी की जा रही है.
गवर्निंग बॉडी
मुख्यमंत्री अध्यक्ष होंगे. कमेटी में उद्योग मंत्री, वित्त मंत्री, राजस्व मंत्री, मुख्य सचिव सदस्य होंगे. उद्योग सचिव सदस्य सचिव होंगे. यह कमेटी औद्योगिक विकास के लिए समग्र नीति एवं दिशा-निर्देश प्रदान करेगी. इस कमेटी द्वारा पारित आदेश एवं लिये गये निर्णय सभी सरकारी विभाग, प्राधिकार तथा एजेंसी के लिए अंतिम एवं मान्य होगा.
हाइ पावर्ड कमेटी
यह उच्च स्तरीय कमेटी होगी. इसके अध्यक्ष मुख्य सचिव, सदस्य विकास आयुक्त, उद्योग सचिव, वित्त सचिव होंगे. उद्योग निदेशक सदस्य सचिव होंगे. यह कमेटी सिंगल विंडो मंजूरी कमेटी होगी. कमेटी राज्य सरकार द्वारा सौंपे गये अन्य कार्य को भी संपन्न करेगी. यह कमेटी सिंगल विंडो क्लीयरेंस कमेटी की मंजूरी की समीक्षा कर सकती है. कमेटी राज्य में निवेश एवं अन्य संबंधित गतिविधियों के संवर्द्धन के लिए जिम्मेदार होगी. कमेटी विभाग के लिए लागू विभिन्न प्रचलित अधिनियमों के तहत स्व प्रमाणन, डीम्ड मंजूरी, निरीक्षणों एवं तीसरे पक्ष द्वारा निरीक्षणों के युक्तीकरण की अनुशंसा करेगी.
सिंगल विंडो क्लीयरेंस कमेटी
कमेटी के अध्यक्ष उद्योग सचिव होंगे. कमेटी में वित्त, भूमि सुधार, नगर विकास, श्रम नियोजन, वन, ऊर्जा, जल संसाधन, खान सचिव एवं प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अध्यक्ष सदस्य होंगे. उद्योग निदेशक संयोजक होंगे. यह कमेटी उद्योगों की स्थापना, उद्योग संचालन के लिए मंजूरी प्रदान करेगी. एमएसएमइ परियोजनाओं के लिए वित्तीय प्रोत्साहन का अनुमोदन कमेटी द्वारा किया जायेगा.
जिला कार्यकारिणी समिति
इस समिति के अध्यक्ष जिलों के उपायुक्त होंगे. समिति में जिला वाणिज्यकर उपायुक्त, प्रदूषण नियंत्रण पर्षद के क्षेत्रीय पदाधिकारी, जीएम डीआइसी, जिला योजना पदाधिकारी, श्रम विभाग के जिला पदाधिकारी, जिलों के बिजली विभाग के संबंधित कार्यपालक अभियंता, डीएमओ व डीएफओ सदस्य होंगे. यह समिति हाइ पावर्ड कमेटी द्वारा दिये गये कार्यों का निष्पादन करेगी. जहां आवश्यक हो वहां अनुशंसा करेगी.

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