झारखंड : PFI भड़काऊ वीडियो डाल माहौल बिगाड़ने की करता था साजिश, लगा बैन, पाकुड़ व साहेबगंज में था सक्रिय
रांची : राज्य सरकार ने आइएसआइएस से प्रभावित संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआइ) को प्रतिबंधित घोषित कर दिया है. विधि विभाग की सहमति के बाद पीएफआइ को सीएलए एक्ट 1908 की धारा-16 के तहत प्रतिबंधित घोषित किया गया है. यह संगठन पाकुड़ और साहिबगंज जिले में सर्वाधिक सक्रिय है. बताया जाता है कि पीएफआइ […]
रांची : राज्य सरकार ने आइएसआइएस से प्रभावित संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआइ) को प्रतिबंधित घोषित कर दिया है. विधि विभाग की सहमति के बाद पीएफआइ को सीएलए एक्ट 1908 की धारा-16 के तहत प्रतिबंधित घोषित किया गया है. यह संगठन पाकुड़ और साहिबगंज जिले में सर्वाधिक सक्रिय है. बताया जाता है कि पीएफआइ की शुरुआत केरल से हुई है.
संगठन को प्रतिबंधित करने के लिए गृह विभाग के प्रस्ताव में कहा गया है कि पीएफआइ के सदस्य आंतरिक तौर पर आइएसआइएस से प्रभावित हैं. पीएफआइ के कई सदस्य गोपनीय तरीके से सीरिया जा चुके हैं. वहां वह आइएसआइएस के लिए काम कर रहे हैं. इस संगठन का झारखंड के दो जिलों पाकुड़ और साहेबगंज में काफी प्रभाव देखा जा रहा था.
पाकुड़ के डीसी-एसपी ने गृह सचिव से की थी अनुशंसा : मुख्यमंत्री की बैठक में भी पीएफआइ का मुद्दा उठा था. संगठन को प्रतिबंधित करने की अनुशंसा पाकुड़ के डीसी और एसपी ने गृह सचिव से की थी. अनुशंसा में कहा गया था कि सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने का काम पीएफआइ कर रहा है.
संगठन के सदस्य वीडियो और तकरीर को प्रसारित कर शासन और प्रशासन के खिलाफ एक समुदाय विशेष के युवाओं को भड़का रहे हैं. इससे विधि व्यवस्था की गंभीर समस्या पाकुड़ सहित पूरे झारखंड में हो सकती है.
पांच जुलाई को पाकुड़ में किया था आक्रोशपूर्ण प्रदर्शन
पांच जुलाई 2017 को पीएफआइ के सदस्यों ने पाकुड़ में आक्रोशपूर्ण रैली निकाली थी. गो-रक्षा व बच्चा चोर के नाम पर हुए हत्या मामले तथा व्हाट्सएप पर आपत्तिजनक पोस्ट मामले में घिरे भाजपा नेता को पाकुड़ पुलिस द्वारा क्लीन चिट दिये जाने के विरोध में रैली निकाली गयी थी.
पीएफआइ के प्रदेश उपाध्यक्ष हंजला शेख, सचिव अब्दुल हन्नान और पूर्व सचिव हबीबुर्र रहमान के नेतृत्व में निकाली गयी रैली में संगठन के करीब 300 से अधिक सदस्य हाथों में तलवार, चाकू लेकर सड़क पर निकले थे. उन्होंने पाकुड़ नगर थाना के गेट के समीप पहुंच कर सड़क जाम कर दी. वहां पर प्रतिनियुक्त पदाधिकारी और सुरक्षा बलों से उलझ गये.
जवानों से हथियार छीनने का प्रयास किया. पथराव में एसडीपीओ श्रवण कुमार, इंस्पेक्टर शिवशंकर तिवारी, एसआइ लव कुमार और पत्रकार धर्मेंद्र उपाध्याय घायल हो गये थे. पीएफआइ के 43 सदस्यों के खिलाफ थाने में (कांड संख्या 86/17) मामला दर्ज किया गया. इसके बाद पीएफआइ के सदस्यों ने माहौल बिगाड़ने के लिए भड़काऊ वीडियो क्लीप सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया के नाम से पाकुड़ में वायरल किया था.