झारखंड : डॉ ममता मामले की होगी सीबीआइ जांच, सीएम ने प्रस्ताव पर लगायी मुहर, जानें क्या लिखा था सुसाइड नोट में
पुलिस मुख्यालय ने की थी अनुशंसा, मुख्यमंत्री ने प्रस्ताव पर लगायी मुहर रांची : सरायकेला-खरसावां निवासी एम्स की डॉ ममता राय मौत मामले की सीबीआइ जांच की अनुशंसा पर मुख्यमंत्री रघुवर दास ने मुहर लगा दी है. इस संबंध में पुलिस मुख्यालय ने पांच अप्रैल को राज्य सरकार से अनुशंसा की थी. प्रभात खबर ने […]
पुलिस मुख्यालय ने की थी अनुशंसा, मुख्यमंत्री ने प्रस्ताव पर लगायी मुहर
रांची : सरायकेला-खरसावां निवासी एम्स की डॉ ममता राय मौत मामले की सीबीआइ जांच की अनुशंसा पर मुख्यमंत्री रघुवर दास ने मुहर लगा दी है. इस संबंध में पुलिस मुख्यालय ने पांच अप्रैल को राज्य सरकार से अनुशंसा की थी.
प्रभात खबर ने छह अप्रैल के अंक में प्रमुखता से इस खबर को प्रकाशित किया था. मुख्यमंत्री ने मामले की सीबीआइ जांच करानेके लिए केरल सरकार से अनुरोध किये जाने के प्रस्ताव पर स्वीकृति प्रदान की है. डॉ राय एम्स नयी दिल्ली में पोस्ट ग्रेजुएशन कर रही थी.
19 जनवरी 2018 को डॉ ममता राय की मृत्यु होटल सीनेट कोचिन में हो गयी थी. वह चर्म रोग विषय पर आयोजित सेमिनार एवं क्विज में भाग लेने नयी दिल्ली से कोच्चि गयी थी. डॉ राय की मृत्यु से संबंधित मामला 30 जनवरी को सेंट्रल पुलिस स्टेशन एर्नाकुलम थाने में कांड 195/2018 दर्ज है. इसी मामले की सीबीआइ जांच कराने के लिए केरल सरकार से अनुरोध किये जाने के प्रस्ताव पर मंजूरी दी गयी है.
पिता ने डॉ. संजय के खिलाफ की थी प्राथमिकी : ममता के पिता अरविंद कुमार राय ने कोच्चि के एर्नाकुलम थाने (केरल) में शिकायत दर्ज करायी थी. इसमें कहा था कि ममता के साथ काम करनेवाले डॉ संजय ने उनकी बेटी को शादी का प्रस्ताव दिया था. लेकिन बेटी ने इंकार कर दिया. इसके बाद डॉ संजय उसके साथ मारपीट करने लगा. उसने धमकी भी दी थी कि किसी को बताया, तो पूरे परिवार को खत्म कर देगा.
इससे ममता डिप्रेशन में चली गयी थी. उनका यह भी आरोप था कि डॉ संजय ने जबरदस्ती उनकी बेटी से सुसाइड नोट लिखवाया और उसे होटल के कमरे में पंखे पर लटकने को मजबूर किया. राय के मुताबिक उन्हें जानकारी मिली थी कि दो जनवरी को डॉ संजय ने ममता को पटक दिया था.
इससे उसके ललाट और कमर में चोट आयी थी. साथ ही ममता का मोबाइल भी संजय ने पटक कर तोड़ दिया था. उन्होंने यह भी आरोप लगाया था कि डॉ संजय के दोस्त आलोक व नेहा भी ममता को डराते-धमकाते थे. इन सब के कारण ममता बहुत डरी रहती थी. पूछने पर भी कुछ नहीं बताती थी. घटना से पहले ममता ने अपने पिता और दोस्त से बात की थी.
काफी मेधावी थी डॉ ममता
डॉ ममता मेधावी थीं. 2005 में सीबीएसइ की 10वीं की परीक्षा में राज्य भर में 94 प्रतिशत अंक के साथ अव्वल आयी थीं. फिर डीएवी श्यामली (अब जेवीएम श्यामली रांची) से 12वीं में अव्वल आयीं.
इसके बाद शिलांग से एमबीबीएस की पढ़ाई की. अव्वल आने के कारण गोल्ड मेडल मिला था. इसके बाद दिल्ली स्थित एम्स से पीजी कर रहीं थी. इसी सिलसिले में अंतिम प्रेजेंटेशन देने कोच्चि गयी थीं, जहां एक होटल के कमरे में मृत पायी गयी.
क्या लिखा था सुसाइड नोट में
डॉ ममता का सुसाइड नोट अंग्रेजी में लिखा था. इसमें लिखा था कि मैं डिप्रेशन की मरीज हूं. मैं इससे लड़ कर तंग आ गयी हूं. मैं जा रही हूं. इसके लिए कोई जिम्मेदार नहीं है. सॉरी पापा.