रांची : रिम्स में 40 घंटे की हड़ताल में 25 लोगों की जान जाने के बाद रविवार की शाम पांच बजे जूनियर डॉक्टर व नर्सों की हड़ताल समाप्त हो गयी. हड़ताल समाप्त करने की घोषणा करते हुए स्वास्थ्य मंत्री व मुख्य सचिव ने मरीजों की मौत को दुर्भाग्यपूर्ण बताया. ऐसी घटना नहीं हो, इस पर विचार करने काे कहा है. दोपहर तीन बजे स्वास्थ्य मंत्री रामचंद्र चंद्रवंशी व मुख्य सचिव सुधीर त्रिपाठी जूनियर डॉक्टर व नर्सों से वार्ता करने रिम्स पहुंचे थे. करीब डेढ़ घंटे तक चली वार्ता के बाद 16 बिंदुओं पर सहमति बनी और हड़ताल समाप्त करने की घोषणा की गयी.
जूनियर डॉक्टर व नर्सों ने तत्काल प्रभाव से काम पर लौटने की बात कही. इधर, शनिवार की सुबह से हड़ताल के कारण मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ा. मरीजों को सूई दवा देनेवाला कोई नहीं था. नर्स इमरजेंसी गेट व निदेशक कार्यालय के सामने धरना पर बैठी रही.
सदर अस्पताल से अायी नर्सों व नर्सिंग स्टूडेंट को रिम्स परिसर में प्रवेश करने पर नर्सों ने रोक लगा रखी थी. महत्वपूर्ण वार्ड में भी नर्स सेवा नहीं दे रही थी. सबसे खराब हाल बर्न, न्यूरो व शिशु वार्ड में भर्ती मरीजों की थी, जिनको सूई, दवा तक नहीं मिली थी. न्यूराे व बर्न वार्ड के मरीज दर्द से कराह रहे थे. परिजन रिम्स निदेशक के पास गये और इलाज की व्यवस्था कराने की मांग की. इसके बाद निदेशक मेट्रॉन को लेकर महत्वपूर्ण वार्डों में गये और मरीजाें को दवा और सूई दिलवायी
सड़क पर उतरे परिजन, जताया विरोध
इधर मरीजों की कराह सुनकर परिजन सड़क पर उतर गये. इमरजेंसी के सामने धरना पर बैठ गये. इमरजेंसी के बाहर परिजनों का धरना और इमरजेंसी के अंदर नर्सों का धरना शुरू हो गया. मरीज रिम्स प्रबंधन से इलाज की गुहार लगा रहे थे. इसी बीच रिम्स के उप-निदेशक गिरजाशंकर प्रसाद व निदेशक डॉ आरके श्रीवास्तव आये. परिजनाें ने इलाज शुरू कराने की मांग की. निदेशक बीच-बीच में बातचीत के दौरान आपा खो दे रहे थे.
इन मुद्दाें पर बनी सहमति
– महिला आरोपी के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाये, ताकि दोबारा ऐसी घटना न हो
– रिम्स की सुरक्षा एजेंसी को तत्काल प्रभाव से नोटिस देकर हटाने की प्रक्रिया शुरू की जाये व सशक्त सिक्यूरिटी एजेंसी काे लाया जाये
– रिम्स में सात महत्वपूर्ण स्थानों पर पुलिस की तैनाती की जाये.
– एक मरीज के साथ एक ही परिजन रहे, विशेष परिस्थिति में दो को अनुमति मिले
– मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट अगले विधानसभा के सत्र में लाया जाये
– डाॅक्टर व नर्स के साथ दुर्व्यवहार करनेवाले काे दी जानेवाली सजा का विज्ञापन निकाला जाये
– जूनियर डॉक्टरों को 15 दिनों के अंदर सातवां वेतनमान दिया जाये.
– जूनियर डॉक्टर व नर्स पर कोई दंडात्मक कार्रवाई नहीं की जाये
– रिक्त पदों को विज्ञापन निकाल कर भरा जाये
– एम्स की तर्ज पर नर्सों को भत्ता दिया जाये
– रिम्स में कार्यरत आउटसोर्सिंग नर्स व पारा मेडिकल कर्मियों को नियुक्ति का विज्ञापन प्रकाशन में प्राथमिकता दी जाये
– शासी परिषद की बैठक में नर्सेस संघ व जूनियर डॉक्टर संघ का एक-एक आमंत्रित प्रतिनिधि बुलाया जाये
– जूनियर डॉक्टरों को एक कार्यालय उपलब्ध कराया जाये
– जूनियर डॉक्टर व नर्सेस संघ के साथ महीने के प्रथम शुक्रवार को बैठक हो
– मरीजों के प्रति चिकित्सकों द्वारा संवेदनशील व्यवहार किया जाये
स्वास्थ्य मंत्री ने जूनियर डॉक्टर व नर्सों से की वार्ता, 16 बिंदुओं पर बनी सहमति
400 मरीजों ने अस्पताल छोड़ा, 800 मरीज ही बचे
रिम्स प्रबंधन का दावा: 1100 मरीजों का इलाज चल रहा है
रिम्स में अराजकता बर्दाश्त नहीं : रघुवर
मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि रिम्स में अराजकता बर्दाश्त नहीं की जायेगी. अपनी बात सबको रखने का हक है, लेकिन कायदे से. उनके िनर्देश पर स्वास्थ्य मंत्री और मुख्य सचिव को वार्ता के लिए रिम्स गये
मृतकों की सूची
मरीज विभाग जिला
राजेश राम मेडिसिन डालटनगंज
कासिम अंसारी मेडिसिन गिरिडीह
सोती साव मेडिसिन नगर उंटारी
मंगरा लोहरा मेडिसिन गुमला
जूलियस मेडिसिन दुमका
चापा मेडिसिन गुमला
अरुण न्यूरो सर्जरी बोकारो
गनौरी न्यूरो सर्जरी हजारीबाग
देवेंद्र पार्या न्यूरो हजारीबाग
कृष्ण कुमार न्यूरो हजारीबाग
मृतकों की सूची
मरीज विभाग जिला
बेबी ऑफ अनिता शिशु खूंटी
बेबी ऑफ प्रीति देवी शिशु लोहरदगा
कल्याण सिंह मुंडा सर्जरी सरायकेला
तलत प्रवीण पेडियाट्रिक रांची
परमहंस कुमार मेडिसिन रिम्स काॅलोनी
प्यारी देवी मेडिसिन धुर्वा, रांची
राम प्रसाद महली मेडिसिन मांडर, रांची
आसुश मुंडा पेडियाट्रिक तमाड़, रांची
नितिन कुमार न्यूरो सर्जरी बिरसा चौक, हटिया
राम लखन सिंह न्यूरो सर्जरी धुर्वा, रांची
बहादुर भगत न्यूरो सर्जरी भरनो, गुमला
दयवंती देवी शिशु रोग जशपुर, छत्तीसगढ़
कैलाश साहु न्यूरो सर्जरी लापुंग, रांची
विजय सोनी मेडिसिन धनबाद
सबरोनी महतो न्यूरो सर्जरी पुरुलिया