रांची : हरिओम टावर से लापता कोचिंग संचालक कोडरमा से बरामद हुए

रांची : लालपुर थाना क्षेत्र के हरिओम टावर स्थित एक कोचिंग के लापता संचालक आलोक कुमार को मंगलवार की शाम उसके परिजनों ने कोडरमा से बरामद कर लिया. आलोक के बरामद होने की सूचना उसके भाई अभिषेक कुमार ने पुलिस को फोन पर दी. उसने यह भी बताया कि अपने भाई से मिलने के बाद […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 6, 2018 5:29 AM
रांची : लालपुर थाना क्षेत्र के हरिओम टावर स्थित एक कोचिंग के लापता संचालक आलोक कुमार को मंगलवार की शाम उसके परिजनों ने कोडरमा से बरामद कर लिया. आलोक के बरामद होने की सूचना उसके भाई अभिषेक कुमार ने पुलिस को फोन पर दी.
उसने यह भी बताया कि अपने भाई से मिलने के बाद उसे पता चला कि उसका अपहरण कर लिया गया था. पुलिस ने आलोक से कहा कि वह अपने भाई को लेकर थाना पहुंचे, उससे पुलिस मामले में पूछताछ करेगी. अभिषेक ने बताया कि आलोक जब सोमवार की शाम करीब चार बजे अपने कोचिंग से बाहर निकला और बाहर खड़ा था, इसी दौरान उसके पास एक व्यक्ति पहुंचा. उसने कहा कि कार में सवार लोग आपको बुला रहे हैं.
जब आलोक कार के पास पहुंचा, तब आलोक को जबरन धक्का देकर कार के अंदर बैठा लिया. कार में चालक सहित तीन लोग थे. कार में सवार लोगों ने उसे नशा देकर बेहोश कर दिया.
अभिषेक के अनुसार आलोक ने उसे बताया कि जब उसे होश आया, तब उसने खुद को कोलकाता के एक रिसोर्ट के बाहर पाया. अपहरण करने वाले शराब पी रहे थे. इसी मौके का फायदा उठा कर वह वहां से बच कर भाग निकला. थोड़ी दूर जाने पर उसे झारखंड आने के लिए एक बस मिली.
बस में सवार होने के बाद वह एक स्थान पर उतर गया. वहां से वह एक टैक्सी से मंगलवार को तीन बजे कोडरमा पहुंचा. इसके बाद फोन पर अपने परिवारवालों को कोडरमा में होने की जानकारी दी. इसके बाद परिजन रांची से कोडरमा पहुंचे और आलोक से मिले. इसके बाद आलोक के मिलने की जानकारी लालपुर थाना की पुलिस को शाम में दी.
भाई से कहा : हुआ था अपहरण
परिजन ने दर्ज कराया था मामला
उल्लेखनीय है कि आलोक कुमार के लापता होने के बाद उसके भाई केएम मल्लिक रोड निवासी अभिषेक कुमार ने सोमवार को अपने भाई के लापता होने को लेकर लालपुर थाना में सनहा दर्ज कराया था.
सनहा दर्ज कर जब पुलिस ने उसके मोबाइल का अंतिम लोकेशन निकाला, तब उनके मोबाइल का लोकेशन स्टेशन रोड स्थित एक होटल का मिला. लेकिन होटल की जांच करने के दौरान आलोक वहां नहीं मिले. पुलिस को अपहरण की कहानी पर कई बिंदुओं पर संदेह है. क्योंकि आलोक कुमार आर्थिक तंगी से परेशान थे. उन्हें पांच लाख की जरूरत थी.
आर्थिक तंगी से परेशान रहने की जानकारी उसकी पत्नी ने भी पुलिस को दी थी. पुलिस आलोक से इस बिंदु पर पूछताछ कर सकती है कि कहीं आर्थिक तंगी के कारण तो वे अचानक लापता नहीं हो गये थे. पुलिस को यह भी आशंका है कि आलोक जब ठीक से चल भी नहीं पाते हैं, तब वह पहरणकर्ताओं के चंगुल से बचकर कैसे भागे.

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