धनबाद : गोविंदपुर एरिया के ब्लॉक-फोर में कंपनी का काम नहीं चल पा रहा है. यहां जमीन और ब्लास्टिंग बहुत बड़ी समस्या है. इस कारण उत्पादन तो ठप है ही, कंपनी को भी काफी नुकसान हो रहा है. ऐसे में कंपनी काम बंद करना चाहती थी.
अपने आप को मजदूरों का मसीहा बताने वालेबाघमारा विधायक ढुलू महतो ने कंपनी का काम बंद कराने के एवज में प्रबंधन से 10 करोड़ रुपये की डिमांड की थी.
डिमांड पूरी नहीं होने पर अब मजदूर हितों की दुहाई दे रहे हैं. ये बातें बीसीसीएल में कार्यरत आउटसोर्सिंग कंपनी मेसर्स ओरिएंटल इंजीनियरिंग स्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड के असिस्टेंट वाइस प्रेसिडेंट (एवीपी) एसएस सेठी ने सोमवार को अपने कार्यालय में हुई प्रेस वार्ता में कही. उन्होंने कहा : मैं विधायक श्री महतो से पूछना चाहता हूं कि कंपनी का काम बंद करा कर वह मजदूर का भला कर रहे हैं या फिर मजदूर के नाम पर अपनी दुकानदारी चला रहे हैं? बता दें कि आउटसोर्सिंग कंपनी अगर खुद काम छोड़ती है, तो उस पर पेनल्टी लगाने का प्रावधान है.
परंतु बीसीसीएल अथवा स्थानीय कारणों से काम बंद होता है, तो इसके लिए आउटसोर्सिंग कंपनी को पेनल्टी का प्रावधान नहीं है. पेनल्टी से बचाने के लिए ही आउटसोर्सिंग कंपनी से 10 करोड़ की डिमांड की गयी थी. बाघमारा विधायक ढुलू महतो ने कहा कि कंपनी के अधिकारी द्वारा लगाये गये आरोप पूरी तरह से निराधार व मनगढ़ंत हैं.
एवीपी एसएस सेठी असली सिख हैं, तो गुरुद्वारा में गुरु ग्रंथ साहिब की कसम खा कर आरोप लगा दें, वादा करता हूं मैं झारखंड छोड़ दूंगा.सच्चाई यह है कि कंपनी यहां से बोरिया बिस्तर समेटना चाहती है.