रांची : तेनुघाट थर्मल के ब्रेकर में आग लगी, उत्पादन ठप

रांची : तेनुघाट थर्मल पावर स्टेशन के ब्रेकर में आग लग जाने की वजह से उत्पादन ठप हो गया. इस कारण राज्यभर में लोड शेडिंग कर आपूर्ति की गयी. करीब 1100 मेगावाट की जगह केवल 742 मेगावाट बिजली ही उपलब्ध थी. इस कारण रांची समेत खूंटी, लोहरदगा, गुमला, सिमडेगा, लातेहार, पलामू, गढ़वा, जमशेदपुर, चाईबासा, सरायकेला-खरसावां […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 31, 2018 9:14 AM
रांची : तेनुघाट थर्मल पावर स्टेशन के ब्रेकर में आग लग जाने की वजह से उत्पादन ठप हो गया. इस कारण राज्यभर में लोड शेडिंग कर आपूर्ति की गयी. करीब 1100 मेगावाट की जगह केवल 742 मेगावाट बिजली ही उपलब्ध थी.
इस कारण रांची समेत खूंटी, लोहरदगा, गुमला, सिमडेगा, लातेहार, पलामू, गढ़वा, जमशेदपुर, चाईबासा, सरायकेला-खरसावां व संथाल-परगना के इलाकों में लोड शेडिंग कर आपूर्ति की जा रही थी.
बताया गया कि दोपहर 12 बजे के करीब कुछ तकनीकी खामी की वजह से तेनुघाट थर्मल पावर स्टेशन के ब्रेकर में आग लग गयी. इस कारण यूनिट नंबर-2 से उत्पादन ठप हो गया. यूनिट नंबर-1 कोयले की कमी के कारण पहले से ही बंद थी. यूनिट नंबर-2 से 211 मेगावाट उत्पादन हो रहा था. उत्पादन ठप हो जाने की वजह से राज्य में 211 मेगावाट बिजली की कमी हो गयी. पहले से ही 110 मेगावाट की लोड शेडिंग चल रही थी. फिर 321 मेगावाट बिजली की शेडिंग होने लगी. उधर आनन-फानन में आग पर काबू पाकर ब्रेकर ठीक किया गया. शाम 7.19 में यूनिट नंबर दो को चालू किया. देर रात तक पूरी क्षमता से उत्पादन होने की बात कही गयी.
क्या थी उत्पादन की स्थिति
शाम छह बजे झारखंड के पास अपना बिजली का उत्पादन केवल 68 मेगावाट था. इसमें इनलैंड पावर का 51 मेगावाट व सीपीपी का 17 मेगावाट था. सेंट्रल पूल से 507 मेगावाट बिजली मिल रही थी. अाधुनिक पावर 125 मेगावाट उत्पादन हो रहा था. झारखंड में कुल 742 मेगावाट बिजली ही मिल रही थी. जबकि मांग 1100 मेगावाट से अधिक की थी. जिसके चलते लोड शेडिंग कर आपूर्ति की जा रही थी.

Next Article

Exit mobile version