रांची : आदिवासी जमीन पर जबरन कब्जा करने का मामला, संजीवनी बिल्डकॉन की अनामिका नंदी को सजा
रांची : आदिवासी जमीन पर जबरन कब्जा करने के मामले में एजेसी सह एससी-एसटी मामलों के विशेष न्यायाधीश एसपी दुबे की अदालत ने संजीवनी बिल्डकॉन प्राइवेट लिमिटेड की निदेशक अनामिका नंदी को साढ़े चार साल कारावास की सजा सुनायी है. मामले के तीन अन्य आरोपी कुलदीप सिंह, रमेश सिंह अौर रामप्रताप वर्मा को साढ़े तीन […]
रांची : आदिवासी जमीन पर जबरन कब्जा करने के मामले में एजेसी सह एससी-एसटी मामलों के विशेष न्यायाधीश एसपी दुबे की अदालत ने संजीवनी बिल्डकॉन प्राइवेट लिमिटेड की निदेशक अनामिका नंदी को साढ़े चार साल कारावास की सजा सुनायी है.
मामले के तीन अन्य आरोपी कुलदीप सिंह, रमेश सिंह अौर रामप्रताप वर्मा को साढ़े तीन साल जेल की सजा सुनायी गयी है. सभी अभियुक्तों पर 20-20 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है. जुर्माना नहीं देने पर छह माह की अतिरिक्त सजा काटनी होगी. इस मामले में सूचक की अोर से अधिवक्ता अोपी गौरव ने पैरवी की.
यह मामला नामकुम थाना कांड संख्या 108/12 दिनांक 22/5/12 से संबंधित है. मामले के सूचक नामकुमनिवासी राणा उरांव ने प्राथमिकी दर्ज करायी थी. प्राथमिकी के अनुसार, उनकी जमीन मौजा सरवल खाता नंबर 30, प्लॉट नंबर 229, रकबा 70 डिसमिल को संजीवनी बिल्डकॉन के बंदूकधारियों ने जबरन घेराबंदी की.
राणा उरांव ने घेराबंदी करने से मना किया तो उन लोगों ने जातिसूचक शब्दों से अपमानित कर धमकी दी.यह जमीन खतियान में आदिवासी खाते की है. इस मामले में 12 दिसंबर 2012 को आरोप पत्र दायर किया गया था. जबकि आठ मई 2014 को आरोप गठन किया गया. इस वाद में अभियोजन की अोर से पांच गवाही करायी गयी.