रांची : गिरिडीह के जमुआ निवासी एक नवजात को परिजनाें ने रानी अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया. नवजात को ऑपरेशन की सख्त जरूरत थी. लेकिन परिजनों ने नवजात का ऑपरेशन नहीं करवाया और अपनी मरजी से छुट्टी ले ली. छुट्टी करवाने के बाद बाद परिजन नवजात को साथ ले जाने के बजाय उसे अस्पताल में ही छोड़ कर चले गये.
इसके बाद नवजात की अस्पताल में ही मौत हो गयी. नवजात की मौत की सूचना अस्पताल प्रबंधन ने परिजनों को दी. इसके बावजूद नवजात के शव को लेने कोई नहीं आया. अस्पताल प्रबंधन की ओर से इस बात की शिकायत शनिवार को कोतवाली थाना में लिखित रूप से की गयी है. इसके साथ ही नवजात को दफन करने की अनुमति मांगी गयी है.
शिकायत के अनुसार 12 जून को राखी देवी के नाम से रानी अस्पताल में मुस्कान हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर, बोकारो से रात में 3.30 किलोग्राम के एक नवजात को एडमिट कराया गया था. नवजात को ऑपरेशन की जरूरत थी.
लेकिन नवजात के अभिभावक ने उसका ऑपरेशन नहीं करवाया. इसके बाद परिजनों ने 13 जून को लगभग एक बजे अपनी मरजी से नवजात की छुट्टी करा ली. लेकिन अस्पताल से छुट्टी होने के बाद परिजन बच्चे को छोड़कर वहां से चले गये. इसी दिन करीब 4.30 बजे नवजात की मौत हो गयी.
इसी दिन अस्पताल प्रबंधन की ओर से नवजात के अभिभावक से फोन पर बात की गयी. बात गिरिडीह के जमुआ निवासी अभिभावक देव कुमार सिंह के साथ हुई थी. तब उन्होंने अस्पताल आने का आश्वासन दिया था. लेकिन वह 15 जून की सुबह तक अस्पताल नहीं पहुंचे. इसके बाद अस्पताल प्रबंधन की ओर से मामले में आगे की कार्रवाई का निर्णय लिया गया और इसकी शिकायत कोतवाली थाने में की गयी.