झारखंड में अब पूरी नहीं हो पायेगी मॉनसून की कमी, थोड़ी देर में संथाल परगना के कई जिलों में वर्षा और वज्रपात की चेतावनी
रांची : झारखंड में मॉनसून के दौरान बारिश की कमी को अब पूरा नहीं किया जा सकेगा. यह कहना है मौसम विभाग का. विभाग ने लगे हाथ संथाल परगना के कई जिलों में रविवार को वर्षा के साथ-साथ वज्रपात की भी चेतावनी जारी कर दी है. कहा गया है कि दुमका, गोड्डा, पाकुर, देवघर और […]
रांची : झारखंड में मॉनसून के दौरान बारिश की कमी को अब पूरा नहीं किया जा सकेगा. यह कहना है मौसम विभाग का. विभाग ने लगे हाथ संथाल परगना के कई जिलों में रविवार को वर्षा के साथ-साथ वज्रपात की भी चेतावनी जारी कर दी है. कहा गया है कि दुमका, गोड्डा, पाकुर, देवघर और जामताड़ा जिला में कुछ जगहों पर मेघ गर्जन के साथ हल्के से मध्यम दर्जे की वर्षा होगी. साथ ही वज्रपात होने की भी संभावना है. मौसम विभाग ने यह चेतावनी करीब एक बजे जारी की. 2:30 बजे दूसरी बुलेटिन जारी कर मौसम विभाग ने गिरिडीह, कोडरमा, बोकारो, चतरा, गढ़वा, पलामू और धनबाद में भी हल्के से मध्यम दर्जे की बारिश और वज्रपात का अनुमान जाहिर किया.
झारखंड में लगातार कई दिनों से बारिश हो रही है, लेकिन अब ऐसी स्थिति नहीं है कि मॉनसून के दौरान होने वाली बारिश की कमी की भरपाई की जा सके. मौसम विभाग के वैज्ञानिक डॉ आरएस शर्मा ने कहा है कि जो परिस्थितियां बन रही हैं, उससे बारिश तो ठीक-ठाक होगी, लेकिन अब तक की 29 फीसदी की कमी को पूरा नहीं किया जा सकेगा. एक जून से 7 सितंबर के बीच झारखंड में 637.7 मिमी बारिश हुई है, जो सामान्य 892.7 से 29 फीसदी कम है.
उन्होंने यह भी बताया कि झारखंड में अगस्त के महीने में अब सामान्य बारिश का स्तर कम हो गया है. अगस्त में आमतौर पर 315.8 मिमी बारिश को सामान्य बारिश माना जाता था, जबकि अब यह घटकर 297.8 मिमी रह गया है. वर्ष 2019 में सिर्फ 261.3 मिमी बारिश हुई, जो नये सामान्य बारिश से भी 12 फीसदी कम है. ज्ञात हो कि 50 साल की औसत वर्षा के आधार पर किसी महीने या साल का औसत वर्षापात तय किया जाता है