रांची : बच्चों के लिए भाषा और संस्कृति जरूरी
रांची विकारिएट कैथोलिक महिला संघ की आमसभा हुई रांची : रांची विकारिएट कैथोलिक महिला संघ की 43वीं वार्षिक आमसभा रविवार को लोयला मैदान में हुई़ इसमें सैकड़ों महिलाएं शामिल हुई़ं आमसभा का विषय था : आज के परिवेश में विश्वास की प्रासंगिकता़ महिला संघ की आध्यात्मिक सलाहकार सिस्टर डोरोथी कुल्लू ने कहा कि समाज में […]
रांची विकारिएट कैथोलिक महिला संघ की आमसभा हुई
रांची : रांची विकारिएट कैथोलिक महिला संघ की 43वीं वार्षिक आमसभा रविवार को लोयला मैदान में हुई़ इसमें सैकड़ों महिलाएं शामिल हुई़ं आमसभा का विषय था : आज के परिवेश में विश्वास की प्रासंगिकता़ महिला संघ की आध्यात्मिक सलाहकार सिस्टर डोरोथी कुल्लू ने कहा कि समाज में महिलाओं की भूमिका महत्वपूर्ण है़ वह समाज की बेहतरी के लिए आगे आये़ं बाइबल में एस्थेर और जूडिथ जैसी महिलाओं केउदाहरण हैं, जिन्होंने समाज को बदल दिया़
बुजुर्ग और माताएं युवा व बच्चों को अपनी भाषा, परंपरा व संस्कृति से जुड़ी बातें जरूरी सिखाये़ं कैथोलिक महिला संघ की अध्यक्ष लिली बारला ने कहा कि कलीसिया माताओं से अपेक्षा करती है कि वे इसे सशक्त करेंगी़ बच्चों काे नेक बनायें. युवा कठिनाई में हैं. उसके साथ मित्रवत व्यवहार करे़ं ओलिव कोयल ने कहा कि हर सफल व्यक्ति के पीछे उसकी मां की अहम भूमिका होती है़ हमारी भाषा-व्यवहार से हमारी मसीहियत झलकनी चाहिए़
‘पहले समाज, फिर व्यक्ति के सिद्धांत पर चलें’
मानवाधिकार कार्यकर्ता ग्लैडसन डुंगडुंग ने कहा कि पहले समाज, फिर व्यक्ति के सिद्धांत पर चले़ं धर्म से पहले अपनी आदिवासियत रखे़ं मौके पर अलबिनुस तिग्गा, ज्योतिष टोप्पो, नीलम तिग्गा, पूनम खलखो, फादर मार्क मुकुल लकड़ा और डीन फादर थियाेडोर टोप्पो ने भी विचार रखे़