झारखंड में अपने दम पर विधानसभा चुनाव लड़ेगी नीतीश कुमार की पार्टी जदयू, दिल्ली में किया एलान
रांची/नयी दिल्ली : बिहार में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सहयोग से सरकार चला रही जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने झारखंड में अपने दम पर चुनाव लड़ने का एलान कर दिया है. पार्टी के वरिष्ठ नेता केसी त्यागी ने दिल्ली में यह घोषणा की. उनका कहना है कि पार्टी की नजर राष्ट्रीय पार्टी बनने पर […]
रांची/नयी दिल्ली : बिहार में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सहयोग से सरकार चला रही जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने झारखंड में अपने दम पर चुनाव लड़ने का एलान कर दिया है. पार्टी के वरिष्ठ नेता केसी त्यागी ने दिल्ली में यह घोषणा की. उनका कहना है कि पार्टी की नजर राष्ट्रीय पार्टी बनने पर है और इसके लिए कम से कम चार राज्यों में मान्यता प्राप्त पार्टी का दर्जा हासिल करना होता है. उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी दिल्ली में भी अपने दम पर चुनाव लड़ेगी.
दोबारा पार्टी अध्यक्ष चुने जाने के बाद बिहार के मुख्यमंत्री और जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार ने अपनी पार्टी की राष्ट्रीय परिषद को संबोधित किया. कहा कि उनकी पार्टी ने भाजपा को आनुपातिक प्रतिनिधित्च दिया. केंद्र में भी ऐसा ही होना चाहिए. जदयू के महासचिव केसी त्यागी ने पत्रकारों को यह जानकारी दी. उन्होंने कहा कि वर्ष 2015 में बिहार विधानसभा चुनाव का जनादेश भाजपा के खिलाफ था, लेकिन नीतीश कुमार ने मंत्री पदों के अलावा उपमुख्यमंत्री का पद भी दिया.
जदयू का यह रुख ऐसे समय सामने आया है, जब भाजपा की एक अन्य सहयोगी पार्टी शिवसेना महाराष्ट्र की सत्ता में समान हिस्सेदारी की मांग कर रही है. त्यागी ने कहा, ‘अगर एनडीए के नेता नरेंद्र मोदी और अमित शाह सरकार में जद (यू) के आनुपातिक प्रतिनिधित्व के लिए पहल करते हैं, तो हम इसका स्वागत करेंगे.’ उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी बिहार में एनडीए की सबसे बड़ी घटक है. जद (यू) को पर्याप्त प्रतिनिधित्व देने से केंद्र सरकार में बिहार के और अधिक प्रतिनिधि होंगे. यह सामाजिक रूप से अधिक व्यापक और सामंजस्यपूर्ण होगा.
उल्लेखनीय है कि भाजपा ने लोकसभा चुनाव में शानदार जीत के बाद अपने प्रत्येक सहयोगी को एक मंत्रीपद की पेशकश की थी. जद (यू) ने कम से कम तीन मंत्री पद मांगे थे. त्यागी ने बताया कि पहली मोदी सरकार में भी जद (यू) को शामिल नहीं किया गया था. हालांकि, उसने 2017 में कांग्रेस और राजद से संबंध तोड़ने के बाद प्रदेश सरकार में भाजपा नेताओं को शामिल किया था.
उन्होंने कहा कि हाल के लोकसभा चुनाव में, भाजपा और जदयू ने राज्य में क्रमशः 17 और 16 सीटें जीती थीं. उसके बाद रामविलास पासवान के नेतृत्व वाली लोजपा की छह सीटें थीं. त्यागी ने हालांकि कहा कि उनकी पार्टी मंत्री पद को लेकर भाजपा पर कोई शर्त नहीं थोप रही. इससे पहले नीतीश कुमार ने अपने भाषण में राष्ट्रव्यापी शराबबंदी पर जोर दिया और महिलाओं के लिए अपनी सरकार के कदमों के बारे में विस्तार से चर्चा की. उन्होंने बिहार में कानून-व्यवस्था के मुद्दों पर होने वाली आलोचना को खारिज कर दिया.
उल्लेखनीय है कि जदयू के झारखंड प्रदेश अध्यक्ष सालखन मुर्मू ने पिछले दिनों दुमका में घोषणा की थी कि उनकी पार्टी विधानसभा चुनाव अकेले लड़ेगी. संथाल परगना की पांच सीटों पर उन्होंने अपने प्रत्याशियों की भी घोषणा कर दी थी. हालांकि, पार्टी ने अभी तक यह स्पष्ट नहीं किया है कि जनता दल यूनाइटेड झारखंड में कुल कितनी सीटों पर विधानसभा चुनाव लड़ेगी.