केंद्र के निर्देश की चार साल से अनदेखी….बिरसा चौक व आरसीएच की तसवीर है
एनआरएचएम अनुबंध कर्मियों का हो समायोजनहड़ताल, विरोध व प्रदर्शन जारी, आज सचिवालय घेराववरीय संवाददाता, रांचीराज्य सरकार गत चार वर्षों से केंद्र के निर्देश की अनदेखी कर रही है. राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन (एनआरएचएम) अनुबंधकर्मी इसी वजह से सरकार का विरोध कर रहे हैं. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने 21 दिसंबर 2011 को ही सभी राज्य सरकारों […]
एनआरएचएम अनुबंध कर्मियों का हो समायोजनहड़ताल, विरोध व प्रदर्शन जारी, आज सचिवालय घेराववरीय संवाददाता, रांचीराज्य सरकार गत चार वर्षों से केंद्र के निर्देश की अनदेखी कर रही है. राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन (एनआरएचएम) अनुबंधकर्मी इसी वजह से सरकार का विरोध कर रहे हैं. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने 21 दिसंबर 2011 को ही सभी राज्य सरकारों को चिट्ठी लिखी थी. इसमें साफ लिखा था कि राज्य सरकारों को अनुबंध पर बहाली से नियमित पद सृजन की ओर बढ़ना चाहिए. केंद्र ने तब अगले पांच वर्षों के दौरान यह काम कर लेने को कहा था. इधर, झारखंड में इसकी प्रक्रिया शुरू ही नहीं हुई है. उसी तरह अनुबंधकर्मियों के मानदेय में वृद्धि का निर्देश भी अमल में नहीं लाया गया है. इन्हीं प्रमुख मांगों को लेकर राज्य भर के करीब 10 हजार अनुबंध कर्मी आंदोलनरत हैं, जिसका असर स्वास्थ्य सुविधाओं पर पड़ा है. संघ के सदस्य इन दिनों भूख हड़ताल पर हैं. बिरसा चौक पर जारी हड़ताल का गुरुवार को चौथा दिन था. चार अनुबंध कर्मियों ने अपना मुंडन करा कर सरकार के प्रति विरोध जताया. मुंडन करानेवालों में अमित मिश्रा, राजेश्वर तिर्की, रोशन जोसेफ टोप्पो व मार्शल मुर्मू शामिल हैं. आठ अगस्त को नेपाल हाउस सचिवालय के घेराव का कार्यक्रम है. इससे पहले अनुबंधकर्मी बिरसा चौक से रैली की शक्ल में दिन के 11.30 बजे नेपाल हाउस पहुंचेंगे. कार्यालय में बंद रहे एमडी : इधर आरसीएच परिसर में कार्यरत अनुबंध कर्मियों ने दूसरे दिन भी कार्य बहिष्कार किया. संघ की मांगों के समर्थन में कर्मचारी-पदाधिकारी अभियान निदेशक (एमडी) के कार्यालय के समक्ष सुबह 10 बजे से ही जमे थे. इस बीच एमडी आशिष सिंहमार भी कार्यालय पहुंचे. इसके बाद वह शाम तक अपने कक्ष से बाहर नहीं निकल सके. दोपहर करीब 2.30 बजे बिरसा चौक से संघ के अध्यक्ष राहुल प्रताप सिंह की अध्यक्षता में भी कुछ अनुबंधकर्मी परिसर पहुंचे. इसके बाद वहां नारेबाजी की गयी. निदेशक प्रमुख स्वास्थ्य डॉ सुमंत मिश्रा अपने इलाज के बाद आज ही कार्यालय पहुंचे थे. उनके खिलाफ भी नारेबाजी की गयी.