बीएसआइडीसी के खिलाफ चल रहे सर्टिफिकेट केस पर रोक
946 कर्मियों को मिलेगा तीन माह का बकाया वेतनमामला बीएसआइडीसी की बंद इकाइयों के कर्मियों के बकाया वेतन व सेवानिवृत्ति लाभ के भुगतान कारांची . झारखंड हाइकोर्ट में गुरुवार को बिहार राज्य इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (बीएसआइडीसी) की बंद इकाइयों के कर्मियों के बकाया भुगतान को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई. जस्टिस आरआर प्रसाद […]
946 कर्मियों को मिलेगा तीन माह का बकाया वेतनमामला बीएसआइडीसी की बंद इकाइयों के कर्मियों के बकाया वेतन व सेवानिवृत्ति लाभ के भुगतान कारांची . झारखंड हाइकोर्ट में गुरुवार को बिहार राज्य इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (बीएसआइडीसी) की बंद इकाइयों के कर्मियों के बकाया भुगतान को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई. जस्टिस आरआर प्रसाद व जस्टिस रंगन मुखोपाध्याय की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए बीएसआइडीसी के खिलाफ चल रहे सर्टिफिकेट केस पर रोक लगाने का निर्देश दिया. साथ ही बंद इकाइयों के कर्मियों को तीन माह का बकाया वेतन भुगतान करने का निर्देश दिया. खंडपीठ ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 19 नवंबर की तिथि निर्धारित की. प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता हिमांशु कुमार मेहता व बीएसआइडीसी की ओर से अधिवक्ता आनंद सेन उपस्थित थे. उल्लेखनीय है कि बीएसआइडीसी कामगार यूनियन व अन्य की ओर से जनहित याचिका दायर की गयी है. 1992-93 से इइएफ, स्वर्णरेखा घड़ी कारखाना, सिंदरी खाद कारखाना, हाइटेंशन इंसुलेटर फैक्टरी व अन्य के सैकड़ों कर्मियों का वेतन व सेवानिवृत्ति लाभ बकाया है. पूर्व में कोर्ट के आदेश पर अंतरिम राहत के तौर पर 7.50 करोड़ रुपये बीएसआइडीसी ने हाइकोर्ट में जमा कराया था, जिसका भुगतान झालसा के माध्यम से कर्मियों को किया गया. 16 कर्मियों का भुगतान नहीं हो पाया था. वैसे कर्मियों को पूर्व के 18 माह का बकाया वेतन दिया जायेगा. वहीं 930 कर्मियों को तीन माह का बकाया वेतन मिलेगा.