इंडिया रिजर्व बटालियन के गठन को मिली मंजूरी

कैबिनेट की बैठक में लिये गये कई निर्णय रेलवे को 400 करोड़ रुपये देने की स्वीकृति 75 फीसदी नियुक्तियां राज्य के उग्रवाद प्रभावित जिलों के युवकों की होगी भारत सरकार आठ साल तक बटालियन का खर्च वहन करेगी रांची : मंत्रिपरिषद ने इंडिया रिजर्व बटालियन के गठन को भी स्वीकृति दी है. जेएनयूआरएम योजना में […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 20, 2015 6:26 AM
कैबिनेट की बैठक में लिये गये कई निर्णय
रेलवे को 400 करोड़ रुपये देने की स्वीकृति
75 फीसदी नियुक्तियां राज्य के उग्रवाद प्रभावित जिलों के युवकों की होगी
भारत सरकार आठ साल तक बटालियन का खर्च वहन करेगी
रांची : मंत्रिपरिषद ने इंडिया रिजर्व बटालियन के गठन को भी स्वीकृति दी है. जेएनयूआरएम योजना में केंद्रीय राशि बंद होने के कारण अधूरी परियोजनाओं को पूरा करने के लिए राज्य के श्रोत से 367.15 करोड़ रुपये खर्च करने की स्वीकृति दी. रेल परियोजनाओं को पूरा करने के लिए मंत्रिपरिषद ने रेलवे को 400 करोड़ रुपये देने की मंजूरी दी. बिजली बोर्ड के विखंडन से बनी नयी कंपनियों को कुल 1.48 अरब रुपये देने की स्वीकृति दी.
मंत्रिपरिषद ने जेएनएनयूआरएम में केंद्रीय सहायता बंद होने से अधूरी पड़ी योजनाओं को पूरा करने के लिए राज्य सरकार ने अपने श्रोतों से 367.15 करोड़ रुपये खर्च करने की अनुमति दी है. इस योजना के लिए निर्धारित राशि में केंद्र सरकार ने अपने हिस्से की 222.33 करोड़ की राशि राज्य सरकार को नहीं दी है.
मंत्रिपरिषद की बैठक में एक नये स्पेशल इंडिया रिजर्व बटालियन के गठन की स्वीकृति दी है. इसमें 75 प्रतिशत नियुक्तियां राज्य के उग्रवाद प्रभावित जिलों के युवकों की होगी. भारत सरकार आठ साल तक इस बटालियन का पूरा खर्च वहन करेगी. नौवें वर्ष से राज्य सरकार को इसका खर्च उठाना होगा. केंद्र सरकार पहले पांच साल तक 18 करोड़ रुपये, छठे साल में 13.5 करोड़ रुपये, सातवें वर्ष में 9.00 करोड़ और आठवें वर्ष में 5.5 करोड़ रुपया राज्य सरकार को देगी. बटालियन में कुल सात कंपनियां होगी. इनमें पांच कंपनियां सुरक्षा से और दो कंपनियां इंजीनियरिंग से जुड़ी होंगी. बटालियन में कुल 1107 पद होंगे.
मंत्रिपरिषद ने झारखंड में निर्माणाधीन रेल परियोजनाओं के लिए अपने हिस्से की 400 करोड़ रुपये की राशि रेल मंत्रलय को देने की स्वीकृति दी. साथ ही देवघर-दुमका रेल लाइन के लिए 30.48 करोड़ के भुगतान पर 20.30 एकड़ जमीन रेलवे को हस्तांतरित करने की स्वीकृति दी.

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