सतर्क रहें: विकास-कांटाटोली रोड की स्थिति दयनीय
रांची: बरसात का मौसम भी गयी. दुर्गा पूजा भी गुजर गयी, लेकिन विकास-कांटाटोली-रामपुर (एनएच 33) सड़क की दुर्दशा पर किसी की नजर नहीं पड़ी. सड़क की स्थिति देखने अब संबंधित अफसर भी नहीं जाते. इस दरम्यान सड़क का एक गड्ढा भी नहीं भरा गया, बल्कि गड्ढे बढ़ते चले गये. अभी भी इस सड़क पर किसी […]
रांची: बरसात का मौसम भी गयी. दुर्गा पूजा भी गुजर गयी, लेकिन विकास-कांटाटोली-रामपुर (एनएच 33) सड़क की दुर्दशा पर किसी की नजर नहीं पड़ी. सड़क की स्थिति देखने अब संबंधित अफसर भी नहीं जाते. इस दरम्यान सड़क का एक गड्ढा भी नहीं भरा गया, बल्कि गड्ढे बढ़ते चले गये. अभी भी इस सड़क पर किसी का ध्यान नहीं है. राज्य सरकार भी सड़क बनाने में सक्षम नहीं है. वह भी एनएचएआइ या एजेंसी के भरोसे बैठी हुई फिलहाल इन्हीं गड्ढों से होकर रोज गाड़ियां आ-जा रही हैं. इन गड्ढों की वजह से अक्सर दुर्घटनाएं हो रही हैं. गाड़ियां भी खराब हो रही हैं. आने-जानेवाले इसी इंतजार में हैं कि कब सड़क के गड्ढे भरेंगे, ताकि उनकी यात्रा सुगम हो.
कहां-कहां खराब है सड़क
बूटी मोड़, खेल गांव मोड़ के पहले, सुरेंद्र नाथ स्कूल के पहले, कोकर चौक के आगे स्थित पुल के पास व पुल के आगे, कांटाटोली चौक के पास, कब्रिस्तान के सामने, नामकुम चौक के पास, नामकुम चौक के आगे मंदिर के पास, सिदरौल के पास.
मधुकॉम की है जिम्मेवारी
इस सड़क को चलने लायक अच्छी स्थिति में रखने की जिम्मेवारी एजेंसी मधुकॉम की है. मधुकॉम को एनएच 33 (रांची-महुलिया) के निर्माण का काम मिला है. इस काम में विकास से रामपुर तक बाइपास का निर्माण भी शामिल है. जब तक विकास से रामपुर तक बाइपास नहीं बन जाता है, तब तक विकास से कांटाटोली होते हुए रामपुर तक की सड़क को बेहतर स्थिति में मधुकॉम को ही रखना है. एनएचएआइ के माध्यम से इसका काम हो रहा है. ऐसी स्थिति में मॉनिटरिंग एनएचएआइ कर रहा है.
मौन है सरकार
इधर, राज्य की महत्वपूर्ण एनएच 33 की स्थिति खराब है. विकास से रामपुर तक का हिस्सा राजधानी से जुड़ा हुआ है. इस पर वाहनों का अत्याधिक लोड है. फिर भी यह नहीं सुधर रही है. राज्य सरकार इस पूरे मामले में हाथ पर हाथ धरे बैठी है. राज्य सरकार के इंजीनियरों का तर्क है कि यह सड़क एनएचएआइ को ट्रांसफर हो गया है. ऐसे में उसकी ही जिम्मेवारी है. राज्य सरकार इसमें कुछ नहीं कर सकती है.