डग्रिी प्राप्त करने की अधिकतम सीमा दो वर्ष तक नर्धिारित
डिग्री प्राप्त करने की अधिकतम सीमा दो वर्ष तक निर्धारितविश्वविद्यालय अनुदान आयोग ने विवि को दिये निर्देशविशेष परिस्थिति में कुलपति की इच्छा पर मिल सकती है एक वर्ष की अौर मोहलतदो वर्ष के अंदर रेगुलर स्टूडेंट व इसके बाद के वर्ष में प्राइवेट स्टूडेंट के रूप में मिलेगी डिग्रीमुख्य संवाददातारांची : विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) […]
डिग्री प्राप्त करने की अधिकतम सीमा दो वर्ष तक निर्धारितविश्वविद्यालय अनुदान आयोग ने विवि को दिये निर्देशविशेष परिस्थिति में कुलपति की इच्छा पर मिल सकती है एक वर्ष की अौर मोहलतदो वर्ष के अंदर रेगुलर स्टूडेंट व इसके बाद के वर्ष में प्राइवेट स्टूडेंट के रूप में मिलेगी डिग्रीमुख्य संवाददातारांची : विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने स्नातक व स्नातकोत्तर के विद्यार्थियों के लिए अधिकतम सीमा तय कर दी है. सामान्य परिस्थिति में कोर्स पूरा होने के साथ ही परीक्षा देकर विद्यार्थी डिग्री प्राप्त कर सकते हैं. विशेष परिस्थिति में विद्यार्थियों को अब अधिकतम दो वर्ष तक के अंदर डिग्री प्राप्त कर लेना होगा. पूर्व में इसकी अधिकतम सीमा चार वर्ष या अधिक थी. यूजीसी ने विशेषज्ञ समिति की सिफारिश के बाद इसे सभी विश्वविद्यालय में लागू करने का निर्देश दिया है. इस बाबत आयोग के सचिव डॉ जसपाल एस संधु ने विवि के कुलपति को पत्र भेज दिया है. इसके तहत सामान्य परिस्थिति के अलावा विद्यार्थियों को रेगुलर विद्यार्थी के रूप में डिग्री प्राप्त करने के लिए अधिकतम सीमा दो वर्ष निर्धारित की गयी है. विशेष परिस्थिति में विद्यार्थी को संबंधित विवि के कुलपति की इच्छा पर एक वर्ष अौर छूट दी जा सकती है. लेकिन इस वर्ष में विद्यार्थी रेगुलर विद्यार्थी के रूप में डिग्री नहीं ले सकेंगे. विद्यार्थी को प्राइवेट विद्यार्थी के रूप में डिग्री मिलेगी. इस डिग्री प्राप्त विद्यार्थी विवि/महाविद्यालय द्वारा जारी रैकिंग सूची में शामिल नहीं हो सकेंगे. यूजीसी के सचिव डॉ संधु के अनुसार देश भर में एकरूपता लाने के उद्देश्य से यूजीसी ने इसे देश भर के विवि में लागू करने का निर्देश दिया है. यूजीसी ने इसके लिए गाईडलाइन जारी कर दिया है. सभी विवि के इसे एकेडमिक काउंसिल/सिंडिकेट/ सीनेट/गवर्निंग बॉडी से स्वीकृति दिलाने की बात कही है.