मंजीत की हत्या में भाई रंजीत का हाथ तो नहीं, पुलिस ने शुरू की जांच

रांची : ट्रांसपोर्टर सरदार मंजीत सिंह उर्फ हैप्पी सिंह की हत्या में उसके भाई रंजीत सिंह का हाथ तो नहीं . इस दिशा में पुलिस ने जांच शुरू कर दी है. रंजीत की संलिप्तता की बारे में साक्ष्य एकत्र करने के लिए बुधवार को फिर से एफएसएल और सीआइडी की टीम को घटनास्थल पर भेजा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 31, 2016 12:46 AM
रांची : ट्रांसपोर्टर सरदार मंजीत सिंह उर्फ हैप्पी सिंह की हत्या में उसके भाई रंजीत सिंह का हाथ तो नहीं . इस दिशा में पुलिस ने जांच शुरू कर दी है. रंजीत की संलिप्तता की बारे में साक्ष्य एकत्र करने के लिए बुधवार को फिर से एफएसएल और सीआइडी की टीम को घटनास्थल पर भेजा गया. दोनों टीम ने विभिन्न बिंदुओं पर जांच की. रंजीत ने ही मंजीत को गोली तो नहीं मारी. इसके बारे में पता लगाने के लिए रंजीत का हाथ धुलवा कर और कपड़ा एफएसएल के पास जांच के लिए भेज दिया गया है.

पुलिस अधिकारियों के अनुसार अगर रंजीत ने फायरिंग की है, तब उसके हाथ और कपड़े में गन पाउडर के निशान होने की संभावना है. इसी वजह से हाथ धुलवा कर उसका पानी और कपड़ा जांच के लिए भेजा गया है. एफएसएल की रिपोर्ट आने के बाद ही पुलिस रंजीत की संलिप्तता पर निर्णय लेगी.

पुलिस को आशंका है कि मंजीत सिंह की हत्या कहीं और की गयी है. हत्या के बाद उसके शव काे कार से चुटिया पशुपालन विभाग ऑफिस के समीप लाया गया होगा. मृत अवस्था में ही मंजीत सिंह को गुरुनानक अस्पताल पहुंचाया गया. इधर मंजीत के भाई रंजीत का कहना है कि उसकी हत्या में चार अपराधी शामिल थे. हत्या पशुपालन विभाग के आॅफिस के समीप ही की गयी है. लेकिन पुलिस को तीन स्थानों पर लगे सीसीटीवी फुटेज की जांच करने पर कहीं कोई अपराधी कार के समीप नहीं दिखा. आस- पास कोई संदिग्ध बाइक सवार भी नहीं दिखा. पुलिस को आशंका कि हत्या के बारे में रंजीत पूरी बात जानता था. हत्याकांड में कोई अन्य भी शामिल हो सकता है, लेकिन इस संबंध में रंजीत पुलिस को जानकारी नहीं दे रहा है.
मंजीत की हत्या कहां हुई है. उसके हत्या के पीछे क्या उद्देश्य है. इस दिशा में पुलिस जांच करने के लिए रंजीत और मृत मंजीत के मोबाइल नंबर का कॉल डंप रेकॉर्ड तकनीकि शाखा के सहयोग से एकत्र कर रही है. इसके अलावा पुलिस कुछ अन्य तकनीकी बिंदुओं पर जानकारी एकत्र कर रही है. विभिन्न बिंदुओं पर जांच पूरी होने के बाद ही पुलिस किसी की संलिप्तता पर अंतिम रूप से निर्णय लगी. फिलहाल मामले में सीनियर पुलिस अधिकारियों ने आधिकारिक रूप से कुछ भी बोलने से इनकार किया है.

Next Article

Exit mobile version