20.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

जल संकट: हाइकोर्ट का निर्देश,समस्या दूर करें हर हाल में पानी दें

रांची: झारखंड हाइकोर्ट ने सरकार को लोगों को हर हाल में पानी उपलब्ध कराने का आदेश दिया है. हाइकोर्ट ने कहा है कि सरकार या अथॉरिटी को जो भी कदम उठाना हो उठाये, ताकि लोगों को गरमी में पानी की समस्या से निजात मिल सके. बुधवार को चीफ जस्टिस वीरेंदर सिंह व जस्टिस एस चंद्रशेखर […]

रांची: झारखंड हाइकोर्ट ने सरकार को लोगों को हर हाल में पानी उपलब्ध कराने का आदेश दिया है. हाइकोर्ट ने कहा है कि सरकार या अथॉरिटी को जो भी कदम उठाना हो उठाये, ताकि लोगों को गरमी में पानी की समस्या से निजात मिल सके. बुधवार को चीफ जस्टिस वीरेंदर सिंह व जस्टिस एस चंद्रशेखर की खंडपीठ में जल स्रोतों के रखरखाव व अतिक्रमण को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई. खंडपीठ ने रांची नगर निगम के जवाब पर नाराजगी जतायी. कोर्ट में मौजूद नगर आयुक्त प्रशांत कुमार को निर्देश दिया कि वह टीम के साथ सभी 55 वार्डों में जायें, लोगों से मिलें, पानी की समस्या जानें और उसे दूर करें. यह कार्य युद्धस्तर पर शुरू किया जाये. इसमें कोताही नहीं बरती जाये.
अनदेखी नहीं की जा सकती : खंडपीठ ने नगर आयुक्त को प्रत्येक वार्ड की जमीनी स्थिति की पूरी जानकारी लेकर कोर्ट को अवगत कराने का निर्देश दिया. कहा : जल संकट गंभीर है, इसकी अनदेखी नहीं की जा सकती है. जब जल स्तर नीचे जा रहा है, तो ऐसी परिस्थिति में लोगों को पानी कहां से देंगे. अप्रैल में पेयजल की समस्या शुरू हो गयी है. खंडपीठ ने पूछा : नगर निगम के पास कितने टैंकर हैं. टैंकर से दिया जा रहा पानी पीने लायक है या नहीं. खंडपीठ ने कहा : जरूरत हो, तो सेना से भी टैंकर मांग सकते हैं.
एक वार्ड में 1.25 लाख लीटर पानी की जरूरत : हाइकोर्ट ने कहा : एक व्यक्ति को प्रतिदिन कम से कम चार से पांच लीटर पानी की जरूरत होती है. एक वार्ड में 25,000 की आबादी भी मान ली जाये, तो प्रतिदिन एक वार्ड में 1.25 लाख लीटर पानी की जरूरत होगी. निगम बताये कि 55 वार्डों में इतना पानी कहां से और किस तरह लोगों को पहुंचाया जायेगा़ उल्लेखनीय है कि जल स्रोतों के अतिक्रमण से संबंधित प्रभात खबर में प्रकाशित खबर को गंभीरता से लेते हुए झारखंड हाइकोर्ट ने उसे जनहित याचिका में तब्दील कर दिया था.
20 प्रतिशत इलाके में ही समस्या
नगर आयुक्त ने खंडपीठ को बताया गया कि रांची नगर निगम सीमा में 2436 हैंडपंप हैं. प्रतिदिन जल स्तर नीचे जा रहा है. इस कारण हैंडपंप नन फंक्शनल हो जा रहे हैं. एेसी स्थिति में डीप बोरिंग कर पानी दिया जा रहा है. 46 टैंकर से पानी दिया जा रहा है. 24 नये टैंकर लाये जा रहे हैं. 80 प्रतिशत क्षेत्रों में डैमों से पाइपलाइन के सहारे जलापूर्ति की जाती है. 20 प्रतिशत क्षेत्रों में समस्या है. यह अधिकतर नया बसा हुआ क्षेत्र है. इन इलाकों में भी पाइपलाइन बिछायी जानी है.
कोर्ट ने प्रत्येक वार्ड की जमीनी स्थिति मांगी
नगर आयुक्त के जवाब के बाद खंडपीठ ने उन्हें प्रत्येक वार्ड की जमीनी स्थिति की पूरी जानकारी लेकर कोर्ट को अवगत कराने का निर्देश दिया. मामले की अगली सुनवाई 12 अप्रैल को होगी़

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें