सेवा सदन से ही ब्लड लेने का दबाव, रिम्स का खून लेने से इनकार

रांची: निजी अस्पताल के चिकित्सक रिम्स के ब्लड बैंक का खून नहीं लेते हैं. मरीजों व परिजनों को अपने अस्पताल के ब्लड बैंक एवं कुछ खास ब्लड बैंकों से ही खून लेने का दबाव डाला जाता है. बुधवार को राजधानी के सेवा सदन अस्पताल में एक ऐसा ही मामला सामने आया है. विजय कुमार महतो […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 30, 2014 7:22 AM

रांची: निजी अस्पताल के चिकित्सक रिम्स के ब्लड बैंक का खून नहीं लेते हैं. मरीजों व परिजनों को अपने अस्पताल के ब्लड बैंक एवं कुछ खास ब्लड बैंकों से ही खून लेने का दबाव डाला जाता है.

बुधवार को राजधानी के सेवा सदन अस्पताल में एक ऐसा ही मामला सामने आया है. विजय कुमार महतो के आग्रह के बावजूद रिम्स के खून को लेने से इनकार कर दिया गया. इस चक्कर में मरीज को एक दिन तक ब्लड नहीं चढ़ाया गया. बुधवार को घंटों मनौवल और डोनर लाने का आश्वासन देने पर एक यूनिट खून दिया गया.

मरीज ने स्वयं बतायी अपनी पीड़ा : मरीज विजय कुमार महतो ने बताया कि चिकित्सक ने कहा कि शरीर में खून की कमी है. अस्पताल में भरती हो जाओ, खून चढ़ाना पड़ेगा. भरती होने के बाद जब मैंने चिकित्सक से कहा कि एक रक्तदान शिविर में मैंने ब्लड डोनेट किया है. मेरे पास रिम्स का डोनर कार्ड है. रिम्स के ब्लड बैंक का नाम सुनते ही डॉक्टर साहब ने कहा कि हम इधर-उधर का ब्लड नहीं चढ़ाते हैं. अगर रिम्स का ब्लड लाना है, तो वहीं चले जायें. यहां रहना है तो यहीं के ब्लड बैंक से खून लेना होगा.

‘‘सेवा सदन अस्पताल में यह नियम है कि भरती मरीज को यही के ब्लड बैंक से खून लेना होता है. इसी आधार पर हम बाहर का खून नहीं लेते है.’’
डॉ शीलमणी, चिकित्सक

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