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विकास में सक्रिय भागीदारी निभायें बैंक प्रबंधक : सीएस
रांची: मुख्य सचिव राजबाला वर्मा ने कहा कि बैंकों के शाखा प्रबंधक झारखंड के विकास में सक्रिय भागीदारी निभायें.अपने दायित्वों व जिम्मेवारियों का निर्वाह करते हुए फाइनेंसियल इनक्लुजन (वित्तीय समावेशन) के लक्ष्यों को पूरा करें. श्रीमती वर्मा सोमवार को रांची में आयोजित राज्य स्तरीय बैंकिंग कमेटी (एसएलबीसी) की विशेष बैठक में बोल रहीं थीं. श्रीमती […]
रांची: मुख्य सचिव राजबाला वर्मा ने कहा कि बैंकों के शाखा प्रबंधक झारखंड के विकास में सक्रिय भागीदारी निभायें.अपने दायित्वों व जिम्मेवारियों का निर्वाह करते हुए फाइनेंसियल इनक्लुजन (वित्तीय समावेशन) के लक्ष्यों को पूरा करें. श्रीमती वर्मा सोमवार को रांची में आयोजित राज्य स्तरीय बैंकिंग कमेटी (एसएलबीसी) की विशेष बैठक में बोल रहीं थीं.
श्रीमती वर्मा ने कहा कि बैंकों की तरफ से महिला स्वयं सहायता समूह, प्रधानमंत्री मुद्रा योजना और अन्य सामाजिक सुरक्षा योजनाओं में लाभुकों को लिंकेज की सुविधाएं नहीं दी जा रही हैं. यह चिंताजनक है. उन्होंने कहा कि राज्य में इस वित्तीय वर्ष में बैंकों की 135 नयी शाखा खोली जानी थी, इसमें से मात्र 20 शाखा ही अब तक खोली गयी है. यह प्रगति अपने आप में संतोषजनक नहीं है. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री जनधन योजना के तहत 83 लाख से अधिक खाते झारखंड में खोले गये. इनमें से 63 लाख खातों को आधार कार्ड से जोड़ा गया, पर 43 प्रतिशत के पास ही रूपे एटीएम कार्ड है. बैंकों को शिविर लगा कर खाताधारकों को रूपे कार्ड निर्गत करने की प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए.
मुख्य सचिव ने कहा कि बैंकों की तरफ से वित्तीय समावेशन से संबंधित योजनाओं को तरजीह नहीं दी जाती है. राज्य में व्यवसाय, वाणिज्य, व्यापार, आधारभूत संरचना और अन्य मानकों के समुचित विकास से ही वित्तीय समावेशन का पूरा लाभ मिल पायेगा. उन्होंने कहा कि बैंकों के लिए हर क्षेत्र में वार्षिक साख योजना (एसीपी) तय की गयी है. आजीविका मिशन के तहत स्वयंसेवी संस्थानों को ऋण का लाभ दिये जाने की बात भी कही गयी है, पर बैंक क्रेडिट लिंकेज नहीं दे रहे हैं. इस पर गौर करने की जरूरत है. वाणिज्यिक और व्यापारिक गतिविधियों के लिए भी वित्तीय सहायता बैंक नहीं दे रहे हैं.
ऐसे में राज्य के गरीबी उन्मूलन कार्यक्रम बाधित होंगे. केंद्रीय वित्तीय (सेवाएं) विभाग के संयुक्त सचिव एमके मिश्रा ने कहा कि मनरेगा, राष्ट्रीय आजीविका मिशन, बीपीएल कार्ड धारियों और अन्य सामाजिक सुरक्षा योजना के लाभुकों के खातों को आधार से जोड़ना जरूरी है. केंद्र सरकार की तरफ से यह तय किया गया है कि सभी तरह के भुगतान आधार कार्ड आधारित हों. सभी लोगों का बैंक खाता हो. सामाजिक सुरक्षा योजनाओं को क्रेडिट लिंकेज दिया जाये. सभी खाताधारकों को यह सुविधा मिले, कि वे कहीं भी किसी भी जगह पैसे का लेन-देन कर सकें. बैठक का संचालन एसएलबीसी के महाप्रबंधक दीप शंकर ने किया.
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