ऊर्जा विकास निगम : 109 करोड़ की अवैध निकासी में 909 अकाउंट का हुआ इस्तेमाल
ऊर्जा विकास निगम के 109 करोड़ रुपये की अवैध निकासी मामले की एसआइटी जांच जारी है. अब तक की जांच में यह पता चला है कि घोटाले का मास्टरमाइंड कोलकाता का रहनेवाला है. उसने अपने गुर्गों, बैंककर्मियों व कुछ सरकारी कर्मियों की मदद से घोटाले को अंजाम दिया है.
रांची. ऊर्जा विकास निगम के 109 करोड़ रुपये की अवैध निकासी मामले की एसआइटी जांच जारी है. अब तक की जांच में यह पता चला है कि घोटाले का मास्टरमाइंड कोलकाता का रहनेवाला है. उसने अपने गुर्गों, बैंककर्मियों व कुछ सरकारी कर्मियों की मदद से घोटाले को अंजाम दिया है. यह भी पता चला है कि 109 करोड़ की अवैध निकासी के लिए 909 खातों का इस्तेमाल किया गया है. इसमें 35 शेल अकाउंट है.
अब तक 350 बैंक खातों से 47.20 करोड़ रुपये फ्रीज किये गये
इस मामले में अब तक 350 बैंक खातों से 47.20 करोड़ रुपये फ्रीज किये गये हैं. जबकि, सेंट्रल बैंक के एक मैनेजर व जेटीडीसी के दो कर्मी के अलावा कुल छह लोगों को गिरफ्तार किया गया है. साथ ही 01,23,20,300 रुपये नकद व 16,70,000 रुपये के जेवरात बरामद किये जा चुके हैं. जांच के दौरान ओबरिया रोड, एकता नगर स्थित शांति कंस्ट्रक्शन के ऑफिस से 37 लाख 18 हजार 500 रुपये एसआइटी ने बरामद किये थे. इसके बाद यह बात सामने आयी थी कि बैंक मैनेजर लोलस लकड़ा ने ऊर्जा निगम का उक्त पैसा बिल्डर को रियल स्टेट में निवेश के तौर पर दिया था. वहीं फर्जीवाड़ा में इस्तेमाल किये गये टूटे मोबाइल फोन के अवशेष को लोलस लकड़ा के डहूटोली, नगड़ी स्थित घर से बरामद किया गया था. एसआइटी की जांच में यह बात भी सामने आयी है कि सेंट्रल बैंक के मैनेजर सहित इस फर्जीवाड़ा में शामिल अन्य लोग आपस में बात करने के लिए एक की-पैड फोन (छोटा फोन) रखते थे.
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