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आदित्यपुर घटना: पुलिस मेंस एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने कहा, पोस्टिंग बचाने के लिए नियम विरुद्ध काम किया अफसरों ने

रांची: आदित्यपुर थाना में पुलिसकर्मियों के साथ मारपीट के आरोपियों को जमानत पर छोड़ने की घटना को लेकर पुलिसकर्मियों में गुस्सा है. झारखंड पुलिस मेंस एसोसिएशन ने कहा है कि अपनी पोस्टिंग बचाने के लिए सरायकेला के एसपी संजीव कुमार और डीएसपी सुमित कुमार ने कानून तोड़ने वाले की मदद की. नियम विरुद्ध काम किया़ […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 29, 2016 7:24 AM
रांची: आदित्यपुर थाना में पुलिसकर्मियों के साथ मारपीट के आरोपियों को जमानत पर छोड़ने की घटना को लेकर पुलिसकर्मियों में गुस्सा है. झारखंड पुलिस मेंस एसोसिएशन ने कहा है कि अपनी पोस्टिंग बचाने के लिए सरायकेला के एसपी संजीव कुमार और डीएसपी सुमित कुमार ने कानून तोड़ने वाले की मदद की. नियम विरुद्ध काम किया़ एसोसिएशन ने सरकार से एसपी-डीएसपी के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है. एसोसिएशन के अध्यक्ष नरेंद्र कुमार ने कहा कि जब पुलिसकर्मियों का स्वाभिमान नहीं रहेगा, मनोबल नहीं रहेगा और पुलिसकर्मी ही गुंडागर्दी के शिकार होंगे, तब सरकार राज्य में शांति किसके बल पर लायी जायेगी. सरकार एसपी-डीएसपी के खिलाफ कार्रवाई करे, नहीं तो पुलिस के जवान सामूहिक अवकाश पर भी जा सकते हैं.
एसोसिएशन के उपाध्यक्ष राकेश पांडेय और महामंत्री रमेश कुमार ने कहा कि सीओ की गाड़ी को धक्का मारने और थाना में पुलिसकर्मियों के साथ मारपीट, तोड़-फोड़ व गाली-गलौज करने की अलग-अलग प्राथमिकी दर्ज की गयी थी. दोनों प्राथमिकी गैर जमानतीय धारा के तहत दर्ज की गयी थी. थाना परिसर में आरोपियों द्वारा मारपीट किये जाने का वीडियो भी मौजूद है. थाना प्रभारी ने आरोपियों को जेल भेजने की प्रक्रिया पूरी कर ली थी. इसके बाद डीएसपी ने नियम को ताक पर रख कर सुपरविजन कर दोनों मामले से गैर जमानती धारा को हटाने का आदेश दिया और आरोपियों को थाना से ही जमानत दे दी गयी. इससे पुलिसकर्मियों का मनोबल गिरा है.
ट्रैफिक सिपाही का निलंबन वापस करने की मांग
मेंस एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने रांची के ट्रैफिक सिपाही संजीव कुमार के निलंबन को वापस करने की मांग की है. पदाधिकारियों ने कहा कि संजीव कुमार सरकार के नियम का पालन करवा रहा था. रांची के मेयर की गाड़ी ने ट्रैफिक सिग्नल को तोड़ा था. जब गाड़ी को रोका गया, तो सिपाही के साथ मेयर के समर्थकों ने गाली-गलौज की. फिर मेयर ने सीएम का काफिला रोक दिया. ट्रैफिक एसपी संजय रंजन ने बिना सच्चाई जाने सिपाही को सस्पेंड कर दिया. यह गलत है. ट्रैफिक एसपी ने भी अपनी पोस्टिंग बचाने के लिए सिपाही को सस्पेंडर कर दिया.

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