परीक्षा से पहले यूपीएससी के प्रश्नपत्र हो गये थे गायब

रांची: झारखंड में परीक्षा से पहले यूपीएससी के प्रश्नपत्र गायब हो गये थे. 23 अगस्त 2015 को संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित सिविल सर्विसेज (प्रारंभिक) परीक्षा के प्रश्नपत्र परीक्षा होने के पहले गायब हो गये थे. प्रश्नपत्रों को दक्षिणी छाेटानागपुर प्रमंडलीय आयुक्त ने परीक्षा से पहले ही खोज कर परीक्षा केंद्र तक पहुंचाया था. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 27, 2017 5:50 AM
रांची: झारखंड में परीक्षा से पहले यूपीएससी के प्रश्नपत्र गायब हो गये थे. 23 अगस्त 2015 को संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित सिविल सर्विसेज (प्रारंभिक) परीक्षा के प्रश्नपत्र परीक्षा होने के पहले गायब हो गये थे. प्रश्नपत्रों को दक्षिणी छाेटानागपुर प्रमंडलीय आयुक्त ने परीक्षा से पहले ही खोज कर परीक्षा केंद्र तक पहुंचाया था. समय पर प्रश्नपत्र उपलब्ध हो जाने की वजह से परीक्षा का आयोजन किया जा सका था. मामले में डुमरी के बीडीओ गोपी उरांव को दोषी माना गया है. मुख्यमंत्री रघुवर दास ने उन पर विभागीय कार्यवाही चलाने का आदेश दिया है. सेवानिवृत्त आइएएस अधिकारी विनोद चंद्र झा को संचालन पदाधिकारी नियुक्त किया गया है.
दो की जगह एक ही बैग पहुंचा था परीक्षा केंद्र : मांडर के तत्कालीन बीडीओ गोपी उरांव को रांची कोषागार से परीक्षा केंद्रों तक प्रश्नपत्र पहुंचाने की जिम्मेवारी समन्वयी पर्यवेक्षक के रूप में दी गयी थी. गड़बड़ी मोरहाबादी स्थित मल्टीपरपस एग्जामिनेशन हॉल स्थित परीक्षा केंद्र में हुई थी. मल्टीपरपस एग्जामिनेशन हॉल तक पहुंचाने के लिए श्री उरांव को दो बैग में रखे पांच सील किये गये बक्सों में प्रश्नपत्र सौंपे गये थे. एक बैग में 300 और दूसरे बैग में 200 प्रश्नपत्र थे, लेकिन उन्होंने मल्टीपरपस एग्जामिनेशन हॉल तक 300 प्रश्नपत्रों वाला एक ही बैग पहुंचाया. केंद्राधीक्षक द्वारा इसकी सूचना दक्षिणी छोटानागपुर प्रमंडल के आयुक्त को दी गयी. आयुक्त ने 200 प्रश्नपत्रों वाला दूसरा बैग रांची कॉलेज में खोज निकाला. आनन-फानन में उसे मल्टीपरपस एग्जामिनेशनल हॉल तक पहुंचाया गया. इस दौरान गोपी उरांव लगातार यही कहते रहे कि उनको मल्टीपरपस एग्जामिनेशन हॉल तक पहुंचाने के लिए एक ही बैग दिया गया था, जबकि पावती रसीद में उन्होंने प्रश्नपत्रों से भरे दो बैग प्राप्त करने पर सहमति प्रदान की थी.
आरोपी अफसर ने खुद की जांच, मानी गलती
प्रश्नपत्रों के गायब होने की जांच आरोपी अधिकारी गोपी उरांव ने ही की है. द छोटानागपुर के आयुक्त ने जिला प्रशासन को मामले की जांच का आदेश दिया था. रांची के अपर समाहर्ता ने गोपी उरांव को ही छानबीन का निर्देश दिया. जांच के बाद श्री उरांव ने माना कि उनको मल्टीपरपस एग्जामिनेशनल हॉल तक पहुंचाने के लिए प्रश्नपत्रों से भरे दो बैग दिये गये थे, जिसमें से एक बैग गलती से रांची कॉलेज में दे दिया गया था.

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