जमीन से ही आदिवासियों की है पहचान

अनगड़ा: खिजरीटोली सरना प्रार्थना सभा में बुधवार को झंडा बदली सह 11वां स्थापना दिवस समारोह का आयोजन किया गया. सरना में 151 महिलाओं ने कलश जल अर्पित कर समारोह का शुभारंभ किया. मुख्य अतिथि सरना प्रार्थना सभा लटमा के अगुआ मंगतु उरांव ने कहा कि जल, जंगल व जमीन से ही आदिवासियों की पहचान जुड़ी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 13, 2017 6:22 AM
अनगड़ा: खिजरीटोली सरना प्रार्थना सभा में बुधवार को झंडा बदली सह 11वां स्थापना दिवस समारोह का आयोजन किया गया. सरना में 151 महिलाओं ने कलश जल अर्पित कर समारोह का शुभारंभ किया. मुख्य अतिथि सरना प्रार्थना सभा लटमा के अगुआ मंगतु उरांव ने कहा कि जल, जंगल व जमीन से ही आदिवासियों की पहचान जुड़ी है.

आदिवासी प्रकृति की पूजा करते हैं. आदिवासियों को प्रकृति से ही ऊर्जा मिलती है. विशिष्ट अतिथि जिप सदस्य राजेश कच्छप ने कहा कि हमें जल, जंगल, जमीन व अपनी संस्कृति की रक्षा के लिये संकल्प लेने की जरूरत है.

इस अवसर पर क्षेत्र की खुशहाली, अच्छी बारिश, बेहतर फसल व आरोग्य के लिये माता सरना से प्रार्थना की गयी. प्रार्थना सभा को धर्म माता चारी उरांव, अध्यक्ष हिरदु उरांव, झामुमो के खिजरी विस प्रभारी अंतु तिर्की, डॉ बिरसा उरांव, चंपा कुजूर, बैजनाथ उरांव, मंटु उरांव आदि ने भी संबोधित किया. मौके पर विनोद उरांव, पेशराम उरांव, सुशांती लिंडा, हरखु मुंडा, भजन बेदिया, प्रेम उरांव, आशा उरांव, प्रेम उरांव, सलगी उरांव, मिथलेश खलखो, तिजुवा उरांव, सुनीता लिंडा, प्रवीण उरांव व अनगड़ा, ओरमांझी, सिल्ली, नामकुम के सरना धर्मावलंबी मौजूद थे.

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